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लद्दाख में शहीद हुए जवानों की अंतिम विदाई में भावनाओं का ज्वार - भारत चीन युद्ध

भारत-चीन सीमा झड़प में शहीद हुए जवानों की अंतिम विदाई
भारत-चीन सीमा झड़प में शहीद हुए जवानों की अंतिम विदाई

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Published : Jun 18, 2020, 10:26 AM IST

Updated : Jun 18, 2020, 10:58 AM IST

10:28 June 18

शहीद जवान सुनील कुमार की अंतिम यात्रा में उमड़ा जनसैलाब आखिरी सलाम

बिहार के लाल सुनील कुमार को आखिरी सलाम

बिहार के लाल सुनील कुमार को आखिरी सलाम

भारत चाइना बॉर्डर के गलवान घाटी में अपनी मातृभूमि की रक्षा करते बिहटा के लाल सुनील कुमार शहीद हो गए थे. शहीद जवान का पार्थिव शरीर उनके पैतृक गांव तारानगर पहुंच गया. जहां उनके अंतिम दर्शन के लिए लोगों की भीड़ उमड़ पड़ी है.

मनेर के लिए निकली शव यात्रा
भारत माता की जय के नारों से पूरा बिहटा गूंज उठा. वहीं 400 मीटर के तिरंगे के साथ उनके स्वागत में गांव के युवा खड़े रहे. शहीद का पार्थिव शरीर परिजनों को सौंप दिया गया है. आर्मी के जवानों ने पहले उनके पैतृक गांव में गार्ड ऑफ ऑनर दिया. इसके बाद शव यात्रा मनेर के लिए निकली.

मच गई चीख पुकार
शहीद का पार्थिव शरीर मनेर के हल्दी छपरा पहुंचने के बाद घाट पर गार्ड ऑफ ऑनर के साथ अंतिम संस्कार की प्रक्रिया की जाएगी. जवान सुनील कुमार का पार्थिव शरीर गांव पहुंचते ही उनके परिवार में चीख-पुकार मच गई. साथ ही गांव के सभी लोगों की आंखें नम हो गई.

2003 में हुई थी शादी
जवान सुनील कुमार ने 2002 में बिहार रेजिमेंट से सेना ज्वाइन की थी. 2003 में उनकी शादी हुई थी. सुनील के दो बेटे और एक बेटी है. एक साल पहले उनकी लद्दाख में पोस्टिंग हुई थी इससे पहले वे दानापुर में तैनात थे.

पति को श्रद्धांजलि देते हुए किया सैल्यूट
सुनील कुमार के बड़े भाई अनिल कुमार 2009 में सेना से सेवानिवृत्त हुए थे. जवान का परिवार फिलहाल दानापुर में रहता है. घर से पार्थिव शरीर निकलने के दौरान शहीद की पत्नी विकी देवी ने भी अपने पति को श्रद्धांजलि देते हुए सैल्यूट किया. मौके पर जिला प्रशासन के साथ आर्मी के अधिकारी मौजूद रहे.

10:23 June 18

तमिलनाडु में हवलदार पलानी का अंतिम संस्कार

तमिलनाडु में हवलदार पलानी का अंतिम संस्कार 

लद्दाख की गलवान घाटी में भारत और चीन के सैनिकों की हिंसक झड़प में 20 जवान शहीद हो गए थे. इन शहीदों में तमिलनाडु के हवलदार पलानी भी शामिल हैं. गुरुवार को पलानी का अंतिम संस्कार किया गया.

इससे पहले बुधवार रात पलानी का पार्थिव शरीर मदुरै एयरपोर्ट पहुंचा.

शहीद के अंतिम संस्कार से पहले रामनाथपुरम में पलानी के परिजनों और ग्रामीणों ने उन्हें अंतिम श्रद्धांजलि अर्पित की. डिप्टी कलेक्टर वीराराघव राव ने पलानी के परिजनों को 20 लाख रुपये की राशि का भुगतान किया.

09:46 June 18

LIVE शहीदों की अंतिम विदाई

शहीद कर्नल संतोष बाबू की अंतिम विदाई के पहले श्रद्धांजलि

भारत और चीन की सेनाओं के बीच हुई हिंसक झड़प में भारत के 20 जवान शहीद हो गए थे. इनमें हैदराबाद के रहने वाले कर्नल संतोष बाबू भी शहीद हुए हैं. आज हैदराबाद के सूर्यापेट में कर्नल संतोष बाबू का अंतिम संस्कार किया जा रहा है.

हैदराबाद पहुंचे कर्नल संतोष बाबू के पार्थिव शरीर को तिरंगे में लपेट कर लाया गया. इस दौरान लोगों की आंखे नम हो गईं और वह संतोष बाबू के पार्थिव शरीर पर फूलों की बौछार करते नजर आए.

शहीद संतोष बाबू का पार्थिव शरीर देर रात हैदराबाद पहुंचा, जहां राज्यपाल तमिलसाई सौंदराजन ने उन्हें श्रद्धांजलि दी.

राष्ट्रीय झंडे और 'हम सैनिकों को सलाम करते हैं' जैसे स्लोगन के साथ लोगों ने जवान के सम्मान में रैलियां निकालीं. साथ ही लोगों ने 'भारत माता की जय' और 'वंदे मातरम' के नारे भी लगाए.

बता दें, कर्नल संतोष की पत्नी संतोषी अपने दो बच्चों के साथ बुधवार सुबह दिल्ली से हैदराबाद एयरपोर्ट पहुंची थीं. इस दौरान साइबराबाद के पुलिस आयुक्त वीसी सज्जन ने हवाई अड्डे पर उनकी अगवानी की और परिवार के सदस्यों को सांत्वना दी.

शहीद कर्नल संतोष बाबू की अंतिम विदाई

गौर हो कि कर्नल संतोष बाबू पूर्वी लद्दाख में चीनी सैनिकों के साथ हुई हिंसक झड़प में शहीद हो गए थे. इस घटना में भारत के 20 अन्य जवान भी शहीद हुए. वहीं चीन के भी 43 सैनिक हताहत हुए थे.

तेलंगाना में सूर्यपेट जिले के रहने वाले बाबू 16 बिहार रेजिमेंट में कमांडिंग ऑफिसर के पद पर कार्यरत थे. वह अपनी पत्नी और दो बच्चों के साथ दिल्ली में रह रहे थे.

Last Updated : Jun 18, 2020, 10:58 AM IST

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