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दिल्‍ली में चलेगी बिना ड्राइवर वाली ये मेट्रो, जानें खासियत

देश की पहली चालक रहित मेट्रो मैजेंटा लाइन पर सोमवार से दौड़ने जा रही है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिये पहली चालक रहित मेट्रो को हरी झंडी दिखाकर रवाना करेंगे.

मेट्रो
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Published : Dec 27, 2020, 6:41 PM IST

Updated : Dec 28, 2020, 6:36 AM IST

नई दिल्ली :देश की पहली चालक रहित मेट्रो मैजेंटा लाइन पर सोमवार से दौड़ने जा रही है. इसके लिए मंत्रालय से मंजूरी मिल चुकी है और सोमवार सुबह 11 बजे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिये पहली चालक रहित मेट्रो को हरी झंडी दिखाकर रवाना करेंगे. 37 किलोमीटर लंबी मैजेंटा लाइन पर से शुरू होने वाली यह सुविधा धीरे-धीरे मेट्रो के पूरे तीसरे फेज की सभी लाइन पर चलने लगेगी. मैजेंटा लाइन के बाद 57 किलोमीटर लंबी पिंक लाइन पर इसकी शुरुआत की जाएगी.


लगा हुआ है सीबीटीसी सिग्नलिंग सिस्टम

डीएमआरसी के अनुसार दिल्ली मेट्रो की पिंक और मैजेंटा लाइन में उस समय से बिना चालक के चलने की सुविधा है, जब इनका निर्माण किया गया था. इसमें सीबीटीसी (कम्युनिकेशन बेस्ड ट्रेन कंट्रोल) सिग्नलिंग सिस्टम लगा हुआ है. लेकिन अभी तक इन दोनों लाइनों की मेट्रो को चालक चला रहे थे, क्योंकि इसे बिना चालक चलाने का नियम नहीं था. डीएमआरसी ने अब मंत्रालय से तीसरे फेज की लाइन पर चालक रहित मेट्रो चलाने के लिए मंजूरी ले ली है. इसलिए सबसे पहले जनकपुरी पश्चिम से बॉटनिकल गार्डन के बीच चलने वाली मैजेंटा लाइन मेट्रो पर इस सेवा की शुरुआत की जा रही है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी सोमवार सुबह इस लाइन की पहली चालक रहित मेट्रो को हरी झंडी दिखाएंगे.

दिल्‍ली में चलेगी बिना ड्राइवर वाली ये मेट्रो.
कैसे चलेगी बिना चालक के मेट्रोजानकारी के अनुसार दिल्ली मेट्रो के तीसरे फेज में बनी मैजेंटा एवं पिंक लाइन मेट्रो में सीबीटीसी सिस्टम लगा हुआ है. यह सिस्टम एक वाई-फाई की तरह काम करता है. यह मेट्रो को सिग्नल देता है जिससे वह चलती है. मेट्रो ट्रेन में लगे रिसीवर सिग्नल मिलने पर मेट्रो को आगे बढ़ाते हैं. विदेश की कई मेट्रो में इस सिस्टम का इस्तेमाल किया जाता है. यह सिस्टम इतना सुरक्षित है कि अगर कभी दो मेट्रो आमने सामने एक ही ट्रैक पर आ जाती है, तो एक निश्चित दूरी पर वह अपने आप ही रुक जाएगी. डीएमआरसी सूत्रों की माने तो चालक रहित इस मेट्रो में कुछ समय तक एक ड्राइवर को बिठाया जाएगा लेकिन बाद में उसे हटा लिया जाएगा.पहले से ज्यादा बेहतर होगा सफर

डीएमआरसी सूत्रों के अनुसार चालक रहित यह मेट्रो पहले से ज्यादा बेहतर सफर का अनुभव यात्रियों को देगी. आमतौर पर मेट्रो सफर के दौरान कई बार झटके जैसा जो अनुभव होता है, वह इस सफर में नहीं होगा. मेट्रो में चढ़ने-उतरने के दौरान किसी भी प्रकार की परेशानी यात्रियों को नहीं होगी. इस सेवा के शुरू होने से मानवीय भूल की संभावना भी खत्म हो जाएगी. फिलहाल मैजेंटा लाइन पर 25 से 30 चालक रहित मेट्रो डीएमआरसी चलाने जा रही है. यह लाइन जनकपुरी पश्चिम से नोएडा के बॉटनिकल गार्डन के बीच चलती है. बताया जाता है कि मेट्रो के चौथे फेज की सभी लाइन पर भी चालक रहित मेट्रो चलाने की सुविधा होगी.


2022 तक एक करोड़ यात्री करेंगे मेट्रो से सफर

डीएमआरसी के मुख्य प्रवक्ता अनुज दयाल के अनुसार वर्ष 2014 तक जहां देश के 5 शहरों में केवल 248 किलोमीटर मेट्रो नेटवर्क था तो वहीं अभी के समय में 18 शहरों में 702 किलोमीटर मेट्रो लाइन बन चुकी है. आने वाले कुछ ही समय में लगभग 27 शहरों में कुल 1000 किलोमीटर का मेट्रो नेटवर्क तैयार हो जाएगा. 2022 में जब भारत की आजादी को 75 साल पूरे होंगे उस समय 1000 किलोमीटर मेट्रो नेटवर्क पर रोजाना लगभग एक करोड़ यात्री सफर कर सकेंगे. फिलहाल दिल्ली एनसीआर में लगभग 390 किलोमीटर मेट्रो नेटवर्क पर परिचालन चल रहा है .जिसमें 11 कोरिडोर शामिल हैं . इन पर 285 स्टेशन बने हुए हैं और औसतन लगभग 60 लाख यात्राएं इस नेटवर्क पर की जा रही हैं.

नेशनल कॉमन मोबिलिटी कार्ड की शुरुआत

एयरपोर्ट मेट्रो पर पूरी तरह संचालित होने वाले नेशनल कॉमन मोबिलिटी कार्ड का उद्घाटन भी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा सोमवार को किया जाएगा. पिछले डेढ़ वर्षो के दौरान 23 बैंकों के जारी रुपे डेबिट कार्ड धारक कोई भी व्यक्ति उस कार्ड के इस्तेमाल से एयरपोर्ट एक्सप्रेस लाइन पर यात्रा कर सकेगा. यह सुविधा वर्ष 2022 तक पूरे दिल्ली मेट्रो नेटवर्क पर उपलब्ध हो सकेगी. इसके बाद स्मार्ट कार्ड के साथ ही डेबिट कार्ड से भी यात्री मेट्रो में सफर कर सकेंगे.


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नियमों के बदलाव को मिली मंजूरी

डीएमआरसी सूत्रों के अनुसार बिना ड्राइवर के मेट्रो चलाने के लिए मेट्रो रेलवे के जनरल रूल्स में बदलाव को मंत्रालय से मंजूरी मिल गई है. अभी तक मेट्रो रेलवे के लिए जो नियम बने हैं उनके तहत बिना ड्राइवर वाली ट्रेन चलाने की कोई व्यवस्था नहीं थी. इसी वजह से आवास एवं शहरी कार्य मंत्रालय को जनरल रूल्स में परिवर्तन करना जरूरी था. इस नए नियम के लिए कानून मंत्रालय से भी सहमति ली गई है. इसके बाद ही चालक रहित मेट्रो का ऑपरेशन शुरु किया जा रहा है.

क​हां-कहां है ड्राइवरलेस मेट्रो

  • दक्षिण कोरिया की राजधानी सोल में ड्राइवलेस ट्रेन चल रही है. ये मेट्रो जमीन के नीचे चलती है, इसमें ड्राइवर का केबिन भी नहीं होता है.
  • यूरोप में डेनमार्क, स्पेन, इटली, फ्रांस, जर्मनी, हंगरी, स्विट्जरलैंड और ब्रिटेन में भी ड्राइवरलेस मेट्रो चलती है. इन देशों में एक से ज्यादा शहरों में भी ऐसी मेट्रो चलाई जाती है.
  • इनके अलावा अमेरिका और कनाडा में भी ड्राइवरलेस ट्रेन चलती है. वहीं, ब्राजील, पेरू और चाइल में भी इस तरह की मेट्रो काफी पहले आ चुकी है.
  • भारत के पड़ोसी देश चीन में भी ड्राइवरलेस मेट्रो चलती है. अगर आप सऊदी अरब, कतर और सिंगापुर जाएं, तो वहां भी आप बिना ड्राइवर की मेट्रो का मजा उठा सकते हैं.
Last Updated : Dec 28, 2020, 6:36 AM IST

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