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कोविड-19 के मरीज ने सड़क पर दम तोड़ा, वीडियो वायरल

पश्चिम बंगाल के बनगांव में एक कोरोना संक्रमित की एंबुलेंस के पास मौत हो गई. मरीज एंबुलेंस में खुद से नहीं चढ़ पा रहा था. कोरोना संक्रमित होने की वजह कोई भी व्यक्ति की मदद करने के लिए नहीं आया. व्यक्ति का शव अस्पताल परिसर के सामने आधे घंटे तक पड़ा रहा.

corona patient dies
कोरोना संक्रमित की मौत

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Published : Jul 28, 2020, 11:22 AM IST

कोलकाता : पश्चिम बंगाल के बोनगांव में कोविड-19 के एक मरीज ने सड़क पर तड़प-तड़प कर दम तोड़ दिया क्योंकि उन्हें अस्पताल ले जाने के लिए आई एम्बुलेंस में वह खुद से सवार नहीं हो सके.

एम्बुलेंस के साथ पीपीई किट पहने स्वास्थ्य कर्मचारी भी आए थे, लेकिन उन्होंने सांस लेने में गंभीर परेशानी से जूझ रहे 68 वर्षीय माधव नारायण दत्ता को वाहन में सवार होने में मदद नहीं की. इतना ही नहीं, साथ में मौजूद दत्ता की पत्नी आसपास से गुजरने वालों से भी गुहार लगाती रहीं, लेकिन सभी लोग तमाशबीन बन कर उस बुजुर्ग को तड़प-तड़प कर मरता हुआ देखते रहे.

कोरोना संक्रमित की मौत

एम्बुलेंस दत्ता को कोलकाता के अत्याधुनिक अस्पताल में ले जाने वाली थी. वह करीब 30 मिनट तक एम्बुलेंस में सवार होने का प्रयास करते रहे. इतना ही नहीं उनका शव भी वहीं सड़क पर एम्बुलेंस के पास पड़ा रहा.

वीडियो में पीपीई किट पहने एक व्यक्ति को कुछ मीटर की दूरी पर खड़ा देखा जा सकता है, लेकिन वह दत्ता की मदद को आगे नहीं आया. बोनगांव सब-डिविजनल अस्पताल के सूत्रों के अनुसार, दत्ता को शनिवार शाम करीब सात बजे अस्पताल लाया गया, उन्हें सांस लेने में दिक्कत हो रही थी. उन्हें कोविड-19 के संदिग्ध मरीजों के वार्ड में भर्ती कर लिया गया.

सूत्रों ने बताया कि दत्ता की हालत बिगड़ने के बाद रात करीब 10 बजे डॉक्टरों ने उन्हें कोलकाता के एक अस्पताल में रेफर कर दिया, जो वहां से करीब 71 किलोमीटर दूर है. एक एम्बुलेंस का इंतजाम किया गया, लेकिन संक्रमण के डर से किसी ने उनकी मदद नहीं की. मामले की जांच के आदेश दिए गए हैं.

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दत्ता की पत्नी ने अपने पति की मौत के लिए सब-डिविजनल अस्पताल की लापरवाही और निष्ठुरता को जिम्मेदार बताया है.

कोविड-19 प्रतिक्रिया नीति पर वैश्विक सलाहकार बोर्ड के सदस्य अभिजित चौधरी ने कहा, 'यह अमानवीय घटना है. ऐसी घटना की निंदा करने के लिए मेरे पास शब्द नहीं हैं. ऐसा लगता है कि कोविड-19 के डर ने हम सभी को अमानवीय बना दिया है.' तमाम राजनीतिक दलों ने भी इस घटना की निंदा की है.

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