कोलकाता/नई दिल्ली : केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने पश्चिम बंगाल सरकार पर आरोप लगाया कि वह फंसे हुए प्रवासी मजदूरों को ट्रेनों से उनके घर पहुंचाने की इजाजत नहीं दी रही है. हालांकि राज्य सरकार ने इस आरोप को खारिज करते हुए कहा कि 6,000 प्रवासी पहले ही लौट चुके हैं तथा और अधिक मजदूरों को लेकर 10 ट्रेनें जल्द ही पहुंचेंगी.
इस बीच, रेलवे ने शनिवार रात कहा कि लॉकडाउन के चलते (देश के विभिन्न हिस्सों में) फंसे लोगों को पश्चिम बंगाल पहुंचाने को लेकर आठ विशेष ट्रेनें चलाने के लिये राज्य सरकार से 'मंजूरी' प्राप्त हो गई है. इस विषय पर राज्य और केंद्र के बीच पूरे दिन चले आरोप-प्रत्यारोप के बाद यह बयान आया.
शाह ने पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी को एक पत्र लिख कर आरोप लगाया है कि राज्य सरकार प्रवासी मजदूरों को लेकर आने वाली ट्रेनों को राज्य में प्रवेश की इजाजत नहीं दे रही है और उन्होंने इसे प्रवासी श्रमिकों के साथ 'अन्याय' करार दिया.
इस घटनाक्रम से केंद्र-राज्य (पश्चिम बंगाल) के बीच टकराव बढ़ने की संभावना है.
हालांकि, राज्य सरकार ने इस आरोप को यह कहते हुए खारिज कर दिया कि 6,000 फंसे हुए प्रवासी मजदूर पहले ही वापस आ चुके हैं और राज्य ने ऐसे और श्रमिकों को लाने के लिये 10 ट्रेनों को हरी झंडी दी है.
रेलवे के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि कर्नाटक से तीन, पंजाब और तमिलनाडु से दो-दो और तेलंगाना से एक ट्रेन फंसे हुए लोगों को लेकर अगले कुछ दिन में पश्चिम बंगाल पहुंचेगी.
हालांकि, अधिकारी ने यह भी कहा कि शनिवार को बंगाल से एक भी श्रमिक विशेष ट्रेन रवाना नहीं हुई, जबकि राज्य ने इसके उलट दावा किया है.
रेल मंत्रालय ने कहा, 'आज सुबह तक पश्चिम बंगाल के लिये हमने सिर्फ दो श्रमिक विशेष ट्रेनों की मंजूरी प्राप्त की, एक अजमेर शरीफ से और दूसरा एर्णाकुलम से.'
मंत्रालय ने रात आठ बजकर 47 मिनट पर ट्वीट में कहा, 'गृह मंत्री के अनुरोध के बाद दोपहर में पश्चिम बंगाल ने पंजाब से दो, तमिलनाडु से दो, कर्नाटक से तीन और तेलंगाना से एक ट्रेन को मंजूरी प्रदान की.' बंगाल ने महाराष्ट्र से किसी ट्रेन को मंजूरी नहीं दी है.
वहीं, रेलवे के आंकड़ों से यह प्रदर्शित होता है कि बंगाल ने अब तक सिर्फ दो 'श्रमिक विशेष' ट्रेनें ही स्वीकार की है, जबकि विभिन्न राज्यों के लिये ऐसी 302 ट्रेनें अब तक चलाई गई है.
प्रवासी मजदूरों की वापसी को लेकर चल रही तकरार ने राज्य में कोविड-19 संकट को लेकर सत्तारूढ़ तृणमूल कांग्रेस और विपक्षी भाजपा के बीच राजनीतिक घमासान को और अधिक बढ़ा दिया है.
तृणमूल कांग्रेस के वरिष्ठ नेता अभिषेक बनर्जी ने शाह पर आरोप लगाया कि वह झूठ फैला रहे हैं. उन्होंने शाह को अपने आरोप साबित करने या माफी मांगने को भी कहा. इस पर, भाजपा ने पलटवार करते हुए कहा कि राज्य सरकार सिर्फ एक खास समुदाय के लोगों को वापस लाने की व्यवस्था कर रही है.
देश के विभिन्न हिस्सों से अलग-अलग गंतव्यों तक प्रवासी मजदूरों को ले जाने के लिए केंद्र सरकार द्वारा चलाई जा रही 'श्रमिक विशेष' ट्रेनों का संदर्भ देते हुए, गृह मंत्री ने पत्र में कहा कि केंद्र ने दो लाख से ज्यादा प्रवासी मजदूरों को घर पहुंचाने की सुविधा प्रदान की है. लेकिन केंद्र को ट्रेन सेवाएं परिचालित करने के लिये राज्य सरकार से उम्मीद के मुताबिक सहयोग नहीं मिल रहा.
शाह ने कहा कि पश्चिम बंगाल के प्रवासी श्रमिक भी घर पहुंचने के लिए बेचैन हैं और केंद्र सरकार ट्रेन सेवाओं की सुविधा भी दे रही है.