भोपाल : पिछले चार दिनों से बोरवेल में फंसे पांच साल के प्रह्लाद की मौत हो गई है. बोरवेल से निकालने के बाद प्रह्लाद को प्रथामिक स्वास्थ्य केंद्र में भर्ती कराया गया था, जहां डॉक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया. जिसके बाद शव को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया गया है. निवाड़ी जिले के सैतपुरा गांव में बुधवार सुबह बोरवेल में गिरे बच्चे प्रह्लाद को रविवार की सुबह करीब 3:30 बजे निकाल लिया गया था. बच्चे मौते के बाद मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने दुख जताते हुए प्रहलाद के परिवार को 5 लाख का मुआवजा देने का एलान किया है.
करीब 90 घंटे की जद्दोजहद के बाद सेना और प्रशासन ने प्रह्लाद को बोरवेल से निकालने में सफलता हासिल की. प्रह्लाद को बचाने के लिए शासन-प्रशासन की तरफ से लगातार कोशिशें की जा रही थी, वहीं प्रह्लाद को लेकर प्रदेश की जनता भी दुआ मांग रही थी. बोरवेल से निकालने के प्रह्लाद को डॉक्टरों की एक टीम अपने साथ प्रथामिक स्वास्थ्य केंद्र ले गई थी. जहां जांच के बाद डॉक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया.
सीएम शिवराज ने जताया दुख
मुझे अत्यंत दुःख है की निवाड़ी के सैतपुरा गांव में अपने खेत के बोरवेल में गिरे मासूम प्रहलाद को 90 घंटे के रेस्क्यू ऑपरेशन के बाद भी बचा नहीं पाए. एसडीआरएफ, एनडीआरएफ और अन्य विशेषज्ञों की टीम ने दिन-रात मेहनत की लेकिन अंत में आज सुबह 3:00 बजे बेटे का मृत शरीर निकाला गया.
दुःख की इस घड़ी में, मैं एवं पूरा प्रदेश प्रहलाद के परिवार के साथ खड़ा है और मासूम बेटे की आत्मा की शांति के लिए प्रार्थना कर रहा है. सरकार द्वारा प्रहलाद के परिवार को 5 लाख का मुआवजा दिया जा रहा है एवं उनके खेत में एक नया बोरवेल भी बनाया जाएगा.
घटना का पहला दिन
4 दिन पहले बुधवार को निवाड़ी के पृथ्वीपुर सैतपुरा गांव में पांच साल का प्रहलाद बोरवेल में गिर गया था. जानकारी मिलने के बाद से ही प्रहलाद को बचाने के लिए पुलिस के साथ सेना भी मौके पर पहुंच चुकी थी. जहां जेसीबी मशीनों के द्वारा खुदाई कर बोरवेल के पास की मिट्टी हटाई जा रही थी और सुरंग बनाकर बच्चे को बचाने का प्रयास किया जा रहा था.
सीएम शिवराज की अपील
मैं उन सभी से करबद्ध प्रार्थना करता हूँ की जो भी अपने यहाँ बोरवेल बना रहे है, वो बोर को किसी भी समय खुला न छोड़े. पहले भी ऐसे अकस्मात में बहुत से मासूम अपने जीवन गंवा चूके है. आप सब भी कहीं अगर अपने आस-पास बोरवेल बन रहे हो तो उसे मज़बूती से ढँकने का प्रबंध करे और करवाये.
कैसे गिरा था प्रहलाद ?
प्रहलाद बुधवार की सुबह 9 बजकर 40 मिनट पर बोरवेल में गिरा था. बोरवेल ढका हुआ था, जैसे ही प्रहलाद ने उसे खोला वह उसमें गिर गया. प्रहलाद को बचाने के लिए बबीना से आर्मी की टीम रेस्क्यू करने पहुंच गई थी. बोरवेल के अंदर कैमरा भेजकर प्रहलाद की स्थिति जानने की कोशिश की जा रही थी.
ऑक्सीजन की जा रही थी सप्लाई