देवघर : झारखंड का देवघर जिला हिंदुओं के लिए पवित्र तीर्थ स्थानों में से एक है. हालांकि, सावन के महीने में इस स्थान पर काफी प्रदूषण होता है. सावन में बड़ी संख्या में श्रद्धालु देवघर आते हैं, और यहां सिंगल यूज प्लास्टिक का अंबार लग जाता है.
सावन में देवघर आने वाले श्रद्धालुओं की संख्या बढ़ जाती है. प्रदूषण के कारण पुजारी महेश पंडित ने लोगों को जागरूक करने का बीड़ा उठाया है. महेश लोगों को प्लास्टिक के दुष्प्रभाव के बारे में बताकर खतरों से आगाह करते हैं.
साल 2017 में झारखंड सरकार ने पॉलीथीन के उपयोग पर प्रतिबंध लगाया था, लेकिन प्रतिबंध के बावजूद स्थानीय लोग लगातार प्लास्टिक का उपयोग करते रहे.
देवघर को प्लास्टिक मुक्त बनाने के लिए पुजारी महेश पंडित ने खुद पहल की और शहर को स्वच्छ बनाने के लिए एक मुहिम की शुरुआत की. ईटीवी भारत ने पुजारी महेश पंडित से बात की. उन्होंने कहा कि शायद सरकार की मदद से हम प्लास्टिक के इस्तेमाल को रोक सकते हैं. सरकार को ऐसे लोगों के खिलाफ सख्त कार्रवाई करनी चाहिए जो प्लास्टिक का इस्तेमाल कर रहे हैं.
महेश पंडित ने कहा कि प्लास्टिक की खरीद-बिक्री दंडनीय है, और वे ऐसे लोगों को देश विरोधी कहते हैं. उन्होंने अपनी मोटरसाइकिल पर एक स्लोगन लिख रखा है. वे बाइक से शहर के अलग-अलग हिस्सों में घूम कर लोगों को जागरुक करते हैं.
ये भी पढ़ें: नो टू सिंगल यूज प्लास्टिक : इस पंचायत के लोग कचरे से बनाते हैं ईंट, फूलदान और टाइल
महेश पंडित ने अपनी मुहिम तीन साल पहले शुरू की थी. स्थानीय लोगों ने धीरे-धीरे महेश की बातें समझीं, जिसका नतीजा है कि पहले की तुलना में अब देवघर में सिंगल यूज प्लास्टिक का उपयोग काफी कम होता है. इस पर महेश पंडित ने कहा कि मैं केवल एक बात जानता हूं कि पहले भारत को गोल्डन बर्ड के रूप में जाना जाता था. अब प्लास्टिक से भरे देश के रूप में जाना जाता है.