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कोरोना कोवैक्सीन : बेलगावी के जीवन रेखा अस्पताल में चल रहा परीक्षण का तीसरा चरण - परीक्षण अब तीसरे चरण में

कर्नाटक के बेलगावी जिले के जीवन रेखा अस्पताल में भारत बायोटेक द्वारा विकसित कोविड 19 वैक्सीन के कोवैक्सीन टीके का क्लीनिकल परीक्षण चल रहा है. रोज 80 स्वयंसेवकों को टीका दिया जा रहा है.

कोवाक्सिन टीके
कोवाक्सिन टीके

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Published : Dec 20, 2020, 9:00 AM IST

बेलगावी (कर्नाटक): भारत बायोटेक द्वारा विकसित कोविड 19 वैक्सीन का कोवैक्सीन कोरोना से हमारी लड़ाई में आशा की किरण है. इसका परीक्षण अब तीसरे चरण में पहुंच गया है. अब तक 780 स्वयंसेवकों को इस टीके की खुराक दी जा चुकी है, किसी पर दुष्प्रभाव नहीं देखा गया है.

इस वैक्सीन के तीसरे चरण का परीक्षण अगले 4-5 दिनों में खत्म हो जाएगा. वैक्सीन के नए साल में बाजार में आने की उम्मीद है.

बेलगावी के जीवन रेखा अस्पताल समेत देश के 12 अस्पतालों में इस टीके का क्लीनिकल परीक्षण हो रहा है. पहले चरण में यह टीका 4 स्वयंसेवकों को दिया गया था, दूसरे चरण में 50 को, और तीसरे चरण यह वैक्सीन 780 स्वयंसेवकों को दिया गया. तीसरे चरण के लिए जीवन रेखा अस्पताल को वैक्सीन की 1,000 खुराक मिली हैं, पिछले दस दिनों से अस्पताल में तीसरा चरण जारी है.

हर रोज 80 स्वयंसेवकों को दिया जा रहा टीका

18 वर्ष से अधिक आयु के औसतन 80 स्वयंसेवकों को हर दिन यह टीका लगाया जा रहा है. अभी तक इसका कोई भी दुष्प्रभाव सामने नहीं आया है. पहले और दूसरे चरण में भी कोई दुष्प्रभाव नहीं सामने नहीं आया था. नतीजतन इस स्वदेश विकसित वैक्सीन से देश को संक्रामक बीमारी से लड़ने में मदद मिलने की उम्मीद काफी ज्यादा है. हालांकि कुछ लोग अफवाहें फैला रहे हैं कि इस परीक्षण के टीके के कारण वह दुष्प्रभाव से ग्रस्त हैं, यह गलत है. अस्पताल के प्रमुख डॉक्टर अमित भाटे ने कहा कि किसी को किसी भी साइड इफेक्ट का सामना नहीं करना पड़ा.

उन्होंने कहा कि देश भर में 12 जगहों पर कोवैक्सीन का परीक्षण किया जा रहा है. किसी भी स्थान से कोई दुष्प्रभाव नहीं बताया गया. इस टीके पर संदेह करने का कोई मतलब नहीं है. हम सभी को इस तथ्य पर विश्वास करना चाहिए. उन्होंने कहा कि कोई भी इसके टॉयल में स्वयंसेवक के रूप में भाग ले सकता है. इस टीके को सफल बनाने के लिए सभी को मिलकर काम करना चाहिए.

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उन्होंने कहा कि भारत बायोटेक कंपनी ने बेलगावी जीवन रेखा अस्पताल सहित सभी परीक्षण स्थलों में प्रत्येक को 1,000 वैक्सीन हैं, ट्रायल तेजी से किए जा रहे हैं. हमने अधिक वैक्सीन के लिए कहा है, जिसको लेकर भारत बायोटेक कंपनी ने सकारात्मक प्रतिक्रिया दी है.

तीसरा चरण : 25,000 स्वयंसेवकों को वैक्सीन दिया जा रहा

भारत बायोटेक ने परीक्षण के पहले और दूसरे चरण के लिए 12 जगहों को चुना. पहले चरण में देशभर में 350 स्वयंसेवकों को टीके का डोज दिया गया. दूसरे चरण में 750 लोगों को खुराक दी गई जो सफल रही. अब तीसरा चरण चल रहा है, जिसमें 25 जगहों पर परीक्षण किया जा रहा है. 12 साइटें पुरानी हैं जहां पहले और दूसरे चरण का परीक्षण किया गया है. चरण 3 में 25,000 स्वयंसेवकों को वैक्सीन दिया जा रहा है. लेकिन किसी को भी किसी भी प्रकार के दुष्प्रभाव का सामना नहीं करना पड़ा. अमित भाटे का कहना है कि लोग अफवाहों को नहीं सुनेंगे.

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