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यूपी में नक्सलवाद का विस्तार करने के लिए ट्रेनिंग दे रहे 5 नक्सलियों को ATS ने किया गिरफ्तार

यूपी के बलिया से ट्रेनिंग देने वाले पांच नक्सली को ATS ने गिरफ्तार किया है. यूपी के जिलों में नक्सली गतिविधियों को बढ़ाने के लिए बड़ी भर्ती कर रहे थे.

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Published : Aug 16, 2023, 10:46 PM IST

Published : Aug 16, 2023, 10:46 PM IST

लखनऊ
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लखनऊ:यूपी के बलिया में नक्सली की ट्रेनिंग देने वाले पांच नक्सलियों को यूपी एटीएस ने मंगलवार को गिरफ्तार किया है. इन नक्सलियों की गिरफ्तारी बलिया के सहतावर थानाक्षेत्र के बसंतपुर गांव से हुई है. ये सभी एक झोपड़ी में संगठन की गोपनीय बैठक कर रहे थे. एटीएस को इनके कब्जे से काफी मात्रा में नक्सल साहित्य, पर्चे, हस्तलिखित संदेश, लैपटाप, नौ मोबाइल फोन, एक नाइन एमएम पिस्टल और कारतूस बरामद हुए हैं.

स्पेशल डीजी कानून व्यवस्था प्रशांत कुमार के मुताबिक, शासन को खुफिया सूचना मिली थी कि सीपीआई (माओवादी) नक्सली संगठन के कुछ प्रमुख सदस्य गोपनीय रूप से बिहार व झारखंड की सीमा से सटे यूपी के जिलों में नक्सली गतिविधियों को बढ़ाने के लिए बड़ी भर्ती कर रहे हैं. इतना ही नहीं मुखौटा संगठनों के माध्यम से देश में सशस्त्र विद्रोह खड़ा करने का प्रयास कर रहे हैं, जिससे माओवादी नक्सल विचारधारा का प्रत्यक्ष रूप से शासन स्थापित हो सके. प्रशांत कुमार ने बताया कि संगठन की केंद्रीय कमेटी के प्रमुख नेता संदीप यादव उर्फ रूपेश उर्फ बड़का भइया की मौत हो जाने के बाद प्रमोद मिश्रा उर्फ बुढ़ऊ उर्फ बन बिहारी जी उर्फ डॉक्टर ने पूर्वाचल में एक एडडॉक कमेटी बनाकर संगठन के सचिव संतोष वर्मा उर्फ मंतोष के माध्यम से लगातार महिलाओं एवं पुरुषों की भर्ती की जा रही थी. इसके लिए कुछ लोगों को जंगल में भेजकर नक्सल का प्रशिक्षण भी दिया जा रहा था. सूचना मिलने पर यूपी एटीएस को इन नक्सलियों की गिरफ्तारी करने की जिम्मेदारी दी गई.

स्पेशल डीजी के मुताबिक, स्वतंत्रता दिवस के दिन गिरफ्तार नक्सलियों में नक्सल प्रशिक्षण प्राप्त महिला नक्सली तारा देवी उर्फ मंजू उर्फ मनीषा, लल्लू राम उर्फ अरुन राम, सत्य प्रकाश वर्मा, राम मूरत और विनोद साहनी शामिल है. ये सभी पांचों नक्सली बलिया के ही रहने वाले हैं, जो प्रतिबंधित संगठन सीपीआई (माओवादी) नक्सली संगठन से जुड़े हैं. इतना ही नहीं ये मुखौटा संगठनों के माध्यम से गोपनीय रूप से पूर्वांचल में संगठन का विस्तार एवं नक्सली गतिविधियों को बढ़ाने के लिए बैठक कर रहे थे. इनमें से कई का लंबा आपराधिक इतिहास है. उनके विरुद्ध एटीएस के लखनऊ थाने में एफआईआर दर्ज की गई है. पूछताछ में संतोष उर्फ मंतोष, प्रमोद मिश्रा, विनय यादव उर्फ गुरुजी एवं इस संगठन से जुड़े कुछ अन्य लोगों का भी नाम प्रकाश में आया है. जो वर्तमान में अलग-अलग जेलों में बंद या फरार हैं.

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