अजमेर.सूफी संत ख्वाजा मोइनुद्दीन हसन चिश्ती के 811वें उर्स के मौके पर दरगाह में शनिवार देर रात को मारपीट और भगदड़ मामले में अंजुमन कमेटी के सचिव सरवर चिश्ती ने वीडियो के माध्यम से अपना बयान जारी किया है. चिश्ती ने बरेलवियों पर आरोप लगाया है कि दरगाह में बरेलवियों ने नारे लगाए. इस कारण माहौल बिगड़ा. जबकि इस घटना से पहले ही अंजुमन कमेटी ने जिला प्रशासन और पुलिस अधीक्षक को पत्र लिखकर बताया था कि तीन-चार वर्षों से बरेलवी दरगाह में नारेबाजी कर माहौल खराब करते आए हैं.
अंजुमन कमेटी के सचिव सरवर चिश्ती ने सोमवार को वीडियो के जरिए अपना बयान जारी किया. बयान के साथ एक नारेबाजी की क्लिप भी डाली गई है. इस पर कड़ी आपत्ति जताते हुए चिश्ती ने कहा कि बरेलवियों ने ख्वाजा की बारगाह में जो हरकत की है, वह कई सालों से करते आ रहे हैं. उससे पहले ही अंजुमन कमेटी की ओर से जिला प्रशासन और पुलिस अधीक्षक को एक पत्र भी लिखा था. दरगाह कमेटी के सदर की ओर से भी दरगाह में कदीमी नारेबाजी के अलावा और किसी तरह की नारेबाजी नहीं करने की हिदायत के बोर्ड लगाए गए थे. अंजुमन कमेटी की ओर से भी बोर्ड लगाए कि कदीमी सलाम पढ़ा जाएगा.
पढ़ें:Ruckus in Ajmer Dargah: दरगाह में मारपीट का वीडियो वायरल, पुलिस जुटी जांच में
बयान के साथ नारेबाजी की क्लिप भी: चिश्ती ने कहा कि बरेलवी सदका ए माविया ख्वाजा गरीब नवाज की दरगाह में मांग रहे हैं. चिश्ती ने कहा कि ख्वाजा गरीब नवाज के चाहने वाले इन नारों को क्या बर्दाश्त कर सकते हैं. उन्होंने कहा कि कई सालों से दरगाह में बरेलवी इस तरह के नारे लगा रहे हैं. इसलिए पुलिस अधीक्षक को अंजुमन कमेटी की ओर से पत्र लिखा गया है. पुलिस प्रशासन भी मामले की जांच में लग गया है. चिश्ती ने कहा कि बरेलवी जहां भी जाते हैं, इस किस्म के नारे लगाते हैं. उन्होंने कहा कि ख्वाजा गरीब नवाज की दरगाह में इन गुलामों के नारे लगाने की क्या जरूरत है. जबकि इनको सख्त मना कर रखा है.