आंध्र प्रदेश : रामायण में श्रवण कुमार का वर्णन मिलता है जिन्होंने मातृ-पितृ भक्ति का परिचय देते हुए उन्हें कांवड़ में बिठाकर तीर्थ यात्रा कराई थी. आज समय भले ही बदल गया हो, लेकिन मातृ भक्ति में कहीं से कमी नहीं आई है. इसी बात उदाहरण पेश करते हुए नजर आ रहे हैं आंध्र प्रदेश के सनापाला श्रवण कुमार. श्रीकाकुलम जिले में इमिग्रेशन जोन चिमलवालासा के रहने वाले श्रवण कुमार यहां करोड़ों रुपये की लागत से अम्मा मंदिर बनवा रहे हैं.
सनापाला श्रवण कुमार की मां अनुसुयादेवी अध्यापिका थीं. श्रवण कुमार के पहले उन्हें जुड़वा बच्चे हुए, लेकिन दोनों की ही बीमारी के कारण जन्म के कुछ ही समय बाद मृत्यु हो गई. इसलिए उनकी अनुसुयादेवी ने उन्हें बड़े लाड प्यार से पाला. लेकिन साल 2008 में उनका देहांत हो गया. हैदराबाद में एक रियल एस्टेट कारोबारी के रूप में स्थापित हो चुके श्रवण कुमार ने इसके बाद साल मार्च 2019 में मां के लिए एक 'अम्मा मंदिर' का निर्माण करने का फैसला किया.