नई दिल्ली: असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्व सरमा ने गुवाहाटी में महाराष्ट्र के विधायकों के डेरा डाले जाने को तवज्जो न देते हुए कहा कि राज्य में सभी 'पर्यटकों' का स्वागत है. सरमा ने यह भी कहा कि उनका महाराष्ट्र की राजनीति से कोई लेना-देना नहीं है. बता दें कि शिवसेना के 38 बागी विधायक गुवाहाटी के होटल में डेरा डाले हुए हैं जिसकी वजह से उद्धव ठाकरे के नेतृत्व वाली सरकार के अस्तित्व पर संकट पैदा हो गया है. महाराष्ट्र के विधायक विमानों से गुवाहाटी पहुंचे हैं.
राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (एनडीए) की ओर से राष्ट्रपति पद की उम्मीदवार द्रौपदी मुर्मू का संसद भवन परिसर में नामांकन दाखिल कराने के बाद सरमा ने संवाददाताओं से कहा, 'कुछ लोग असम आए हुए हैं. उन्होंने होटल की बुकिंग की है. मैं इससे खुश हूं. आप भी आएं, यह असम की अर्थव्यवस्था की मदद करेगा. इसके जरिये असम का पर्यटन भी आगे बढ़ेगा.'
महाराष्ट्र में चल रहे राजनीतिक घटनाक्रम के बारे में पूछे जाने पर उन्होंने कहा कि वह टिप्पणी नहीं कर सकते क्योंकि वह बड़ा राज्य है. सरमा ने कहा, 'मैं महाराष्ट्र पर टिप्पणी कैसे कर सकता हूं. वह बड़ा राज्य है. मुझे खुशी है कि लोग असम का चयन प्राथमिकता वाले स्थान के तौर पर कर रहे हैं.' भाजपा नीत असम सरकार पर बाढ़ राहत कार्य को कथित तौर पर नजर अंदाज करने और महाराष्ट्र के विधायकों की मेजबानी करने में व्यस्त होने के लग रहे आरोपों पर सरमा ने कहा कि वह असम की राजधानी में मौजूद होटलों को इसलिए बंद करने का आदेश नहीं दे सकते क्योंकि राज्य के कुछ हिस्सों में बाढ़ की स्थिति है.
उन्होंने कहा, 'मुझे नहीं पता कि इन लोगों की किस तरह की मानसिकता है. क्या मुझे गुवाहाटी के होटलों को बंद कर देना चाहिए क्योंकि राज्य के कुछ हिस्सों में बाढ़ आई है. हम बाढ़ प्रभावित लोगों को राहत पहुंचा रहे हैं. कैसे मैं गुवाहाटी के होटलों को बंद कर सकता हूं. अगर कल, आप 10 दिनों के लिए गुवाहाटी आकर रहने का फैसला करें तो क्या मुझे मुख्यमंत्री के तौर पर कहना चाहिए कि आप को नहीं आना चाहिए.'