सक्ती:छत्तीसगढ़ की जैजैपुर विधानसभा कई मायने में खास सीट मानी जाती है. अनारक्षित जैजैपुर विधानसभा सीट छत्तीसगढ़ के जांजगीर-चांपा जिले के अंतर्गत आती है. जैजैपुर को बसपा का गढ़ भी बोला जाता है. क्योंकि यहां बसपा के वोटर्स की संख्या काफी ज्यादा है. इस सीट पर लंबे समय से बहुजन समाज पार्टी के केशव चंद्रा विधायक रहे हैं. 2013 और 2018 के विधानसभा चुनाव में केशव प्रसाद चंद्रा ने इस सीट पर जीत दर्ज की है. साल 2018 में केशव चंद्रा ने भाजपा प्रत्याशी कैलाश साहू को 21 हजार से ज्यादा वोटों से हराया था.
फिर से मैदान में केशव प्रसाद चंद्रा: बसपा ने 9 विधानसभा के उम्मीदवारों की लिस्ट की घोषणा की थी. जिसमें जैजैपुर विधानसभा क्षेत्र के वर्तमान विधायक केशव प्रसाद चंद्रा को बसपा ने फिर अपना उम्मीदवार बनाया है. केशव प्रसाद चंद्रा पिछले 2 विधानसभा चुनावों में इस सीट से लगातार जीत दर्ज कर चुके हैं. सहज और सरल स्वभाव के कारण हर वर्ग के अंदर केशव प्रसाद चंद्रा की पैठ देखी जाती है.
क्या है केशव चंद्रा की ताकत ? : जैजैपुर विधानसभा सीट के एससी वोटर्स लगभग बसपा समर्पित वोटर्स हैं, जिसका लाभ बसपा प्रत्याशी को हर चुनाव में मिलता रहा है. इसके साथ ही केशव चंद्रा लगातार क्षेत्र में सक्रिय रहते हैं. जिसके चलते उन्हें सभी वर्गों का भरपूर समर्थन मिलता है. विधायक केशव प्रसाद चंद्रा क्षेत्रीय मुद्दों को लेकर काफी सक्रिय माने जाते हैं. विधानसभा सत्र में भी सबसे ज्यादा सत्ता से सवाल करने वाले विधायक माने जाते हैं.
जैजैपुर विधानसभा सीट का इतिहास: 2008 में जैजैपुर विधानसभा अस्तित्व में आया था. सक्ती, मालखरौदा और पामगढ़ के कुछ हिस्सों को मिलाकर इसे बनाया गया था. 2008 में जैजैपुर विधानसभा सीट के लिए पहली बार चुनाव हुआ. जिसमें कांग्रेस के टिकट से महंत राम सुंदर दास ने चुनाव लड़कर जीत हासिल की थी. जिसके बाद साल 2013 में बहुजन समाज पार्टी के केशव प्रसाद चंद्रा ने भाजपा के कैलाश साहू को हरा दिया. जैजैपुर विधानसभा एकमात्र ऐसी सीट है, जहां से बसपा ने छत्तीसगढ़ में अपना खाता खोला था. 2018 में भी केशव प्रसाद चंद्रा ने भाजपा के कैलाश साहू को हराया.