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Savitribai Phule Death Anniversary: सावित्रीबाई फुले...पहली महिला शिक्षक जिन्होंने रचा इतिहास - सावित्रीबाई फुले पुण्यतिथि

सावित्रीबाई फुले की आज पुण्यतिथि है. इन्होंने महिलाओं के हक और सुरक्षा और शिक्षा के लिए कई ठोस कदम उठाया है.

Savitribai Phule
सावित्रीबाई फुले

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Published : Mar 10, 2023, 1:18 PM IST

Updated : Mar 10, 2023, 1:31 PM IST

रायपुर:सावित्रीबाई फुले पहली महिला शिक्षक होने के साथ साथ समाजसुधारक और एक कवयित्री भी थीं. आज 10 मार्च को सावित्रीबाई फुले की पुण्यतिथी है. छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल और पूर्व मुख्यमंत्री रमन सिंह के साथ ही तमाम नेताओं ने सावित्री बाई फूले के योगदान को याद किया.

नेताओं ने सोशल मीडिया पर किया याद: जिस जमाने में महिलाओं को घर के अंदर ही पर्दे में रहना पड़ता था, उस जमाने में महिलाओं के हक के लिए इन्होंने आवाज उठाया. महिलाओं के अधिकार के लिए कई बदलाव किए. इतिहास रचने वाली इस महान महिला को पुण्यतिथि के मौके पर सीएम भूपेश बघेल और छत्तीसगढ़ के पूर्व सीएम रमन सिंह ने ट्वीट कर श्रद्धांजलि अर्पित की है.

9 वर्ष की उम्र में हुई शादी: इस महान महिला का जन्म महाराष्ट्र में 3 जनवरी 1831 को हुआ था. इनके पिता का नाम खंडोजी नेवसे, मां का नाम लक्ष्मीबाई था. साल 1840 में 9 साल की आयु में सावित्रीबाई की शादी 12 साल के ज्योतिराव फुले से हो गई थी.

ऐसे की थी शुरुआत:जब लड़कियों की शिक्षा पर पाबंदी थी, तब सावित्रीबाई और ज्योतिराव ने महज 9 विद्यार्थियों को लेकर एक स्कूल की शुरुआत की थी.

दलितों के पक्ष में उठाया आवाज: पहले दलितों को कुएं पर पानी लेने की मनाही हुआ करती थी. उन्होंने दलितों के लिए एक कुआं बनाया ताकि दलित भी साफ पानी पी सकें. हालांकि कुआं बनने के बाद उनका काफी विरोध भी हुआ.

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ब्रिटिश सरकार ने किया सम्मानित:सावित्रीबाई फुले और उनके पति को महिला शिक्षा के क्षेत्र में योगदान के लिए 1852 में ब्रिटिश सरकार ने सम्मानित किया था. इतना ही नहीं सावित्रीबाई के सम्मान में डाक टिकट, केंद्र और महाराष्ट्र सरकार ने उनकी स्मृति में कई पुरस्कारों की स्थापना की.

Last Updated : Mar 10, 2023, 1:31 PM IST

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