छत्तीसगढ़

chhattisgarh

ETV Bharat / state

Raipur: धरने पर बैठी महिलाओं को हटाने आया प्रशासन, भाजपा नेता गौरीशंकर श्रीवास और तहसीलदार में हुई तीखी बहस

नवा रायपुर में छत्तीसगढ़ रसोईया संघ ने राज्य सरकार के खिलाफ मोर्चा खोल रखा है. शुक्रवार को रायपुर जिला प्रशासन ने धरने पर बैठी महिलाओं को हटने के लिए कहा. इस बात को लेकर भाजपा नेता गौरीशंकर श्रीवास और तहसीलदार के बीच तीखी बहस हुई. गौरीशंकर श्रीवास ने सरकारी आदेश की कॉपी को भी फाड़ दिया.

Rasoiya sangh women protest in raipur
छत्तीसगढ़ रसोईया संघ का प्रदर्शन

By

Published : Apr 14, 2023, 4:25 PM IST

Updated : Apr 14, 2023, 5:26 PM IST

भाजपा नेता गौरीशंकर श्रीवास और तहसीलदार के बीच बहस

रायपुर: नवा रायपुर के तूता धरना स्थल पर रसोईया संघ धरने पर बैठा है. रायपुर जिला प्रशासन ने जब धरने पर बैठी महिलाओं को हटने के लिए कहा, तो वहां भाजपा नेता गौरीशंकर श्रीवास ने इसका विरोध किया. भाजपा नेता गौरीशंकर श्रीवास और तहसीलदार के बीच तीखी बहस हुई. इस बीच भाजपा नेता गौरीशंकर श्रीवास ने सरकारी आदेश को फाड़ते हुए कहा "हमें बाबा साहब अंबेडकर ने धरना प्रदर्शन करने का मौलिक अधिकार दिया है. आप पुलिस लेकर आएं, लाठी मारना है मारिये, हम लोगों की हत्या कर दीजिए या जेल लेकर जाइए". लेकिन हम धरना देंगे.

धरने पर बैठे गौरीशंकर श्रीवास:नवा रायपुर में धरने पर बैठे छत्तीसगढ़ रसोईया संघ की महिलाओं को हटाने, जिला प्रशासन पहुंचा हुआ था. इस दौरान भाजपा नेता गौरीशंकर श्रीवास मौके पर पहुंचे और महिलाओं को हटाने की कार्रवाई को असंवैधानिक बताया. प्रशासन की इस कार्रवाई के विरोध में गौरीशंकर धरना प्रदर्शन कर रही महिलाओं के साथ ही धरने पर बैठ गए.

"अनुमति के बाद भी धरने से रोका जा रहा है":भाजपा नेता गौरीशंकर श्रीवास ने बताया "अपनी मांगों को लेकर रसोईया संघ हड़ताल पर बैठा है. लेकिन प्रशासन जानबूझकर छत्तीसगढ़ रसोईया संघ को परेशान कर रहा है. धरना प्रदर्शन की अनुमति होने के बाद भी धरने पर बैठी महिलाओं को रोका जा रहा है."

यह भी पढ़ें:Economic Boycott छत्तीसगढ़ में समुदाय विशेष के आर्थिक बहिष्कार की शपथ


मात्र 300 रुपये बढ़ाया गया है मानदेय: छत्तीसगढ़ रसोईया संघ की प्रदेश अध्यक्ष नीलू ओगरे ने कहा "हम मिड डे मील योजना के तहत स्कूलों में भोजन बनाते हैं. इनमें रसोईया एवं रसोईया सह सहायिका को 1500 रुपए मासिक मानदेय दिया जा रहा है. इसके साथ ही वित्तीय वर्ष में उन्हें केवल 10 महीने का मानदेय ही दिया जाता है. बजट सत्र के दौरान मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने 300 रुपये मानदेय बढ़ाया, जो बहुत कम है."

मानदेय में बढ़ोतरी की मांग: नीलू ओगरे ने कहा कि "हमारी मांग है कि, हमारे मानदेय में बढ़ोतरी की जाए और कलेक्टर दर पर हमें वेतन किया जाए. इससे पहले भी हमने कई बार आवेदन किया, लेकिन हमारी बातों को नहीं सुना जा रहा है. जब तक हमारी मांग पूरी नहीं होगी हमारा आंदोलन जारी रहेगा."

Last Updated : Apr 14, 2023, 5:26 PM IST

ABOUT THE AUTHOR

...view details