रायपुर: छत्तीसगढ़ की राजधानी रायपुर में अवैध बाल गृह का खुलासा हुआ था. यहां से महिला बाल विकास विभाग और चाइल्ड लाइन की टीम ने 19 नाबालिगों को छुड़ाया था. कुल 10 लड़के और 9 लड़कियां उनमें शामिल है. सभी बच्चे मध्यप्रदेश के मंडला और बालाघाट के हैं. सूचना मिलने के बाद सोमवार को मंडला पुलिस की टीम रायपुर पहुंची. यहां पुलिस अधिकारियों से बात कर टीम बच्चों को लेकर मंडला रवाना हो गई है.
MP पुलिस बच्चों को लेकर मंडला रवाना मंडला पुलिस की टीम में एक महिला पुलिस कर्मी भी मौजूद थी. साथ ही एक बच्चे के परिजन भी उनके साथ रायपुर पहुंचे. परिजनों ने बताया कि संस्था ने बच्चों को बेहतर शिक्षा देने की बात कही थी. उसी के आधार पर हमने अपने बच्चे को भेजा था. उनके मुताबिक 10 दिन पहले ही बच्चों को मंडला से रायपुर लाया गया था. इस दौरान संस्था ने कहा था कि शुरुआत में एक बार मात्र 2 हजार रुपये देने हैं. उसके बाद बाकी का खर्चा खुद संस्था उठाएगी.
रायपुर के अवैध बाल गृह से 19 नाबालिग कराए गए रिहा, सभी बच्चे एमपी के रहने वाले
अवैध रूप से संचालित बाल गृह के खुलासे के बाद मामला तूल पकड़ता जा रहा है. इस केस में बाल संरक्षण टीम की ओर से लिखित शिकायत भी दर्ज की गई है. मंडला पुलिस की टीम सभी 19 बच्चों को लेकर मंडला के लिए रवाना हो गए हैं.
आपको बता दें कि नया रायपुर स्थित मंत्रालय से महज 5 किमी की दूरी पर अवैध रूप से बाल गृह का संचालन हो रहा था. इतना ही नहीं बाकायदा पोस्टर जारी कर लोगों से इस बाल गृह के लिए डोनेशन, मदद और अनुदान मांगे गए थे. जब इस पम्पलेट की सूचना बाल विकास विभाग की टीम को मिली तो उसने छापेमार कार्रवाई के बाद यहां से 19 बच्चों को छुड़ाया. इस केस में बाल संरक्षण की टीम ने लाइफ शो फाउंडेशन के संचालक नरेंद्र महानंद के खिलाफ राखी थाने में लिखित शिकायत दर्ज की है. जिसमें तेजी से तफ्तीश की जा रही है.