रायपुर: पुलिस और प्रदर्शनकारियों के बीच कुछ देर तक झूमाझटकी भी देखने को मिली. प्रशासन की उपलब्ध कराई गई प्रदर्शन स्थल पर पानी और दूसरी अन्य सुविधाएं नहीं होने की वजह से प्रदर्शनकारियों को काफी मशक्कत करनी पड़ी. सहायक शिक्षक संघ ने इसे आर-पार की लड़ाई बताया.
वेतन विसंगति दूर करने की मांग:पूरे प्रदेश में 6 फरवरी से सहायक शिक्षक अपनी 1 सूत्रीय मांग वेतन विसंगति की मांग को लेकर ब्लॉक स्तर पर लगातार प्रदर्शन कर रहे हैं. जिसके बाद राजधानी में शनिवार को प्रदेश स्तर पर हजारों की तादाद में सहायक शिक्षकों ने सरकार के खिलाफ मोर्चा खोला. प्रदर्शन करने के बाद प्रदर्शनकारी मुख्यमंत्री निवास को घेरने निकले थे, जिसको पुलिस ने नवा रायपुर में ही रोक दिया. जिसके कारण प्रदर्शनकारियों में आक्रोश और नाराजगी भी देखने को मिली. राजधानी से नवा रायपुर स्थित तूता धरना स्थल की दूरी लगभग 21 किलोमीटर है.
Assistant Teacher Federation protest in Raipur: सहायक शिक्षकों का प्रदेश व्यापी प्रदर्शन, वेतन विसंगति दूर करने की मांग - raipur latest news
शनिवार को नवा रायपुर के तूता प्रदर्शन स्थल पर प्रदेश भर के हजारों सहायक शिक्षकों ने अपनी 1 सूत्रीय मांग वेतन विसंगति की मांग को लेकर प्रदेश व्यापी प्रदर्शन किया. सरकार के खिलाफ जमकर नारेबाजी भी की गई . प्रदर्शन के बाद हजारों की तादाद में सहायक शिक्षक नवा रायपुर स्थित तूता धरना स्थल से पैदल मुख्यमंत्री निवास का घेराव करने निकले जिसके बाद पुलिस ने प्रदर्शन स्थल से लगभग 2 किलोमीटर दूर नवा रायपुर में ही प्रदर्शनकारियों को रोक दिया .
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शासन की अव्यवस्था के बावजूद जुटे लोग:छत्तीसगढ़ सहायक शिक्षक फेडरेशन के कार्यकारी अध्यक्ष बसंत कुमार कौशिक ने बताया कि "आंदोलन के छठवें दिन शनिवार को प्रदेश व्यापी आंदोलन के लिए मजबूर होना पड़ा. राजधानी रायपुर में प्रदर्शन के लिए प्रशासन से अनुमति मांगी गई थी लेकिन प्रशासन ने राजधानी रायपुर में प्रदर्शन की अनुमति न देकर नवा रायपुर स्थित तूता धरना स्थल में प्रदर्शन करने की अनुमति दी थी."
"सहायक शिक्षकों को जिस जगह पर प्रदर्शन की अनुमति दी थी वहां पर ना ही पीने का पानी था ना ही टॉयलेट की व्यवस्था थी और ना ही खाने पीने की किसी प्रकार की कोई व्यवस्था थी. ऐसे में प्रदर्शनकारियों को काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ा.बावजूद इसके प्रदेश भर के हजारों सहायक शिक्षक इस प्रदर्शन में शामिल हुए. शासन प्रशासन ने शुक्रवार को ही हजारों सहायक शिक्षकों को रायपुर आने से रोक दिया गया था."