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नारायणपुर: शो पीस बना उप स्वास्थ्य केंद्र, इलाज के लिए भटक रहे सोनपुर गांव के लोग

नरायाणपुर के सोनपुर गांव में उप स्वास्थ्य केंद्र को बने एक साल से ज्यादा का वक्त बीत गया है लेकिन यहां इलाज अब तक नहीं शुरू हुआ है. इस वजह से ग्रामीण बेहद परेशान हैं.

sub-health center not started in Narayanpur
नारायणपुर उप स्वास्थ्य केंद्र

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Published : Nov 12, 2020, 11:04 AM IST

Updated : Nov 12, 2020, 4:35 PM IST

नारायणपुर: जिला मुख्यालय से लगभग 26 किलोमीटर दूर सोनपुर गांव में उप स्वास्थ्य केंद्र शुरू नहीं होने से अबूझमाड़ क्षेत्र के ग्रामीणों को कई किलोमीटर दूर इलाज कराने जाना पड़ रहा है. सोनपुर के साप्ताहिक बाजार में स्वास्थ्य विभाग सिर्फ मंगलवार को इलाज करता है. सप्ताह के बाकी दिन आश्रित गांवों में जाकर स्वास्थ्य दल इलाज करता है. जिससे सोनपुर के लोगों को ठीक से स्वास्थ्य सुविधा नहीं मिल पा रही है.

शो पीस बना उप स्वास्थ्य केंद्र

नारायणपुर जिले में कुल 64 उप स्वास्थ्य केंद्र हैं. 27 उप स्वास्थ्य केंद्र नारायणपुर विकासखंड और ओरछा विकासखंड में 37 उप स्वास्थ्य केंद्र हैं. स्वास्थ्य विभाग ने उप स्वास्थ्य केंद्र के लिए भवन निर्माण की स्वीकृत दी लेकिन ओरछा विकासखंड में मात्र 4 उप स्वास्थ्य केन्द्रों में भवन बना है. बाकि 33 केंद में अब भी भवन नहीं हैं. अंदरूनी और दुर्गम क्षेत्र होने से भवन बनाना संभव नहीं हो रहा. नारायणपुर में विशेष केंद्रीय सहायता योजना के तहत सोनपुर उप स्वास्थ्य केंद्र का निर्माण कराया गया लेकिन 1 साल बीत जाने के बाद अब तक उप स्वास्थ्य केंद्र नहीं खुल पाया है. जिससे अबूझमाड़ क्षेत्र के लोगों को परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है, जो कि स्वास्थ्य सुविधाओं की पोल खुलती नजर आ रही है.

सालभर पहले बना था भवन
सोनपुर के सरपंच कार्तिक परिहार का कहना है कि उप स्वास्थ्य केन्द्र सोनपुर में भवन बनकर लगभग 1 साल बीत चुका है. लेकिन अबतक उप स्वास्थ्य केंद्र नहीं खुल पाया है.

पढ़ें- बलरामपुर:उप स्वास्थ्य केंद्र का भवन निर्माण अधूरा, इलाज के लिए भटक रहे ग्रामीण

3 हजार की जनसंख्या में सिर्फ पांच से दस कर्मचारी कर रहे काम

CMHO डॉ. एआर गोटा ने बताया कि उप स्वास्थ्य केंद्र में एक महिला और एक पुरुष कर्मचारी की पदस्थापना की गई है, जिससे गर्भवती महिलाओं का पंजीयन, बच्चों का टीकाकरण के साथ अन्य संक्रमण जैसे मलेरिया, उल्टी, दस्त, पीलिया के रोकथाम का इलाज कर रहे हैं. लगभग अबूझमाड़ के 3 हजार की जनसंख्या में सिर्फ पांच से दस कर्मचारी गांव के कार्य क्षेत्र में शामिल रहते हैं. इस मुश्किल परिस्थितियों में भी क्षेत्र में पहुंचकर कर्मचारी अपना काम कर रहे हैं.

Last Updated : Nov 12, 2020, 4:35 PM IST

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