महासमुंद : कस्टममिलिंग के नाम पर सरकारी धान की धड़ल्ले से कालाबाजारी कर शासन को करोड़ों रुपए की चपत लगाई गई है. सोसाइटी का धान ऐसे राइसमिल में लाया जा रहा है जिसने कस्टम मिलिंग के लिए पंजीयन नहीं कराया है. मामले का खुलासा छापेमारी में जब्त धान से हुआ है. जब्त बारदाने के बोरों पर सोसाइटी की मुहर लगी है.
बता दें कि खाद्य विभाग को सूचना मिली थी कि सोसाइटी के धान की कालाबाजारी की जा रही है, जिसके बाद खाद्य विभाग की टीम ने घोड़ारी स्थित NL राइस इंडस्ट्रीज पर छापा मारा. वहां 4026 क्विंटल धान और 366 क्विंटल चावल पाया गया. इसमें 756 बोरे में मामा भांजा सोसाइटी की मुहर लगी थी.