एमसीबी:एमसीबी जिले के के नगर पालिक निगम चिरमिरी में भीषण गर्मी में लोग बूंद-बूंद पानी को तरस रहे हैं. हालात ये है कि तुर्रा से पीने का पानी लाकर भीषण गर्मी में अपनी प्यास बुझानी पड़ रहा है. चिरमिरी में पिछले 8 साल में करीब 48 करोड़ रुपए जल आवर्धन योजना पर खर्च किए जा चुके हैं. बावजूद इसके यहां पीने के पानी की समस्या जस की तस बनी हुई है.
तुर्रा से पानी लाकर प्यास बुझा रहे निगमवासी: चिरमिरी नगर निगम के वार्ड नं. 26 और 27 में एसईसीएल कॉलोनी है. इस कॉलोनी में लोगों को निस्तारी के लिए तो पानी उपलब्ध हो जाता है लेकिन पीने का पानी इन तक नहीं पहुंच पाता है. यही कारण है कि स्थानीय लोग लगभग 2 किलोमीटर का सफर तयकर तुर्रा से पानी लाते हैं. दिन में पानी लाने में भले ही कोई परेशानी ना हो लेकिन रात के समय वहां जाने में जंगली जानवरों का खतरा रहता है. क्योंकि गर्मी में अक्सर पानी की तलाश में जानवर भी इस ओर रूख करते हैं.
वाटर एटीएम भी बंद:वार्डवासियों की मानें तो वार्ड में सार्वजनिक नल नहीं लगाया गया है. वार्ड में कोरिया नीर वाटर एटीएम लगाया गया था जो हमेशा बंद रहता है. यहां कारण है कि वार्ड के करीब 4 हजार लोग तुर्रा के पानी पर निर्भर है.
"यहां एसईसीएल कॉलोनी है. यहां कंपनी से निस्तार योग्य पानी सप्लाई किया जाता है. लेकिन वो पानी पीने योग्य नहीं है. वार्ड में कोरिया नीर वाटर एटीएम लगा हुआ है. लेकिन वह कभी कभी ही खुलता है."- वार्डवासी