कोरबा :साल 2023 ने कुछ लोगों को कभी न भरने वाले जख्म दिए. वहीं कुछ अनसुलझे केस को भी पुलिस ने काफी मेहनत के बाद सुलझाया.इन्हीं में से एक केस एंकर सलमा का भी था. जो करीब 5 साल तक फाइल्स के बोझ के नीचे दबा रहा.लेकिन एक युवा अधिकारी ने इस केस को आखिरकार मेहनत और सूझबूझ से सुलझा लिया. साल के अंत में हम आपको इस वर्ष के टॉप 10 अपराधों को रिवाइंड कराने जा रहे हैं.जिसमें सबसे पहला नंबर प्रेमी की बेवफाई का है.
1.प्रेमिका की हत्या कर प्रेमी ने दफनाया:साल 2023 की शुरुआत में जनवरी के दूसरे हफ्ते में 8 माह पहले लापता हुई युवती की गुमशुदगी से पर्दा उठा. पता चला कि 25 वर्षीय अंजू को उसके प्रेमी गोपाल खड़िया ने मारकर रिस्दी के पास नर्सरी में दफना दिया था. पूछताछ में आरोपी ने बताया कि उसने 8 महीने पहले अंजू की हत्या कर दी थी,क्योंकि वो शादी के लिए दबाव बना रही थी.इसके बाद नर्सरी में गड्ढा खोदकर दफन भी कर दिया. गोपाल ने ये भी बताया कि वह हत्या के बाद से ही बेचैन था. अंजू उसके सपने में आती थी. जिसके बाद वो डर गया.
प्रेमिका को मार कर दफना देने का एक और मामला 29 नवंबर को खुला. जो बांगो थाना के गांव लेपरा से जुड़ा था. खुलासे के 2 महीने पहले सितंबर में कोरबा जाने की बात कहकर ज्योति घर से निकली लेकिन वापस नहीं लौटी. जब यह मामला खुला तब पता चला कि आरोपी सोनू लाल साहू ने अपने चार अन्य साथियों के साथ मिलकर गर्लफ्रेंड की जंगल में पहले हत्या की.इसके बाद उसे दफन कर दिया. पुलिस को गुमराह करने के लिए लेपरा में अपनी गर्लफ्रेंड के परिजनों को फोन कर 15 लाख की फिरौती भी मांगी. यही फोन कॉल पुलिस के अपराधियों तक पहुंचाने का जरिया बना. पुलिस ने हत्या के सभी आरोपियों को पकड़ा.
2.ईडी की टीम ने कोरबा में की ताबड़तोड़ कार्रवाई : ईडी की छापामार कार्रवाई ने कांग्रेस सरकार में खूब सुर्खियां बटोरी.लेकिन 17 फरवरी को ईडी और केंद्रीय खनिज उड़न दस्ता की टीम एक ही दिन कोरबा पहुंची. ऐसा बहुत कम होता है जब केंद्र सरकार की दो एजेंसियां किसी एक जिले में एक साथ जांच पड़ताल करें. खनिज की टीम ने खनिज विभाग और इससे जुड़े मामलों में छानबीन की. वहीं ईडी की टीम ने भी कोयला घोटाले से जुड़ी जांच पड़ताल की. 2 दिनों तक खनिज विभाग के दफ्तर में दस्तावेजों को खंगाला गया. कोरबा जिले में ही देश की दो सबसे बड़ी कोयला खदान हैं. यहीं से लेवी वसूली की शुरुआत हुई थी, जिसने देश भर में सुर्खियां बटोरी. इसी घोटाले में गड़बड़ी के आरोप में पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल की निज सचिव सौम्या चौरसिया और कोरबा की पूर्व कलेक्टर रानू साहू भी फिलहाल जेल में बंद हैं. उन पर भी लेवी वसूली के लिए पूरे सिस्टम को संचालित करने का आरोप है. इसी कोयला घोटाले में सूर्यकांत तिवारी से लेकर कई आईपीएस अधिकारियों के नाम भी जुड़े, इन सभी की शुरुआत कोरबा जिले से ही हुई थी.
3.ग्रामीण ने की सब इंस्पेक्टर की हत्या : ऐसे मामले बेहद कम सुनने में आते हैं. जब कोई अपराधी बैरक में घुसकर पुलिसकर्मी की हत्या कर दें, कोरबा जिले के बांगो थाने में एक ऐसी ही वारदात सामने आई. जिसमें पुरानी कार्यवाही से नाराज एक ग्रामीण ने पुलिस विभाग के एएसआई नरेंद्र सिंह परिहार की हत्या कर दी थी. आरोपी ने कई दिनों तक रेकी की और प्लान बनाकर देर रात 2:00 बजे जब एएसआई के बैरक में पहुंचा. तब आरोपी ने टांगी और फरसा नुमा हथियार से एएसआई की हत्या कर दी. इस गुत्थी को सुलझाने में पुलिस को काफी समय लगा. कई पुलिस कर्मियों से भी पुलिस ने पूछताछ की गयी. लेकिन बाद में पुलिस ने इस मामले का खुलासा किया और बताया कि डीजे बजाने और शराब के प्रकरण आरोपी बनाए जाने से नाराज बांगो थाना के निवासी करण गिरी ने परिहार की हत्या की थी.
4. डिप्टी कलेक्टर और आईएएस के खिलाफ दहेज प्रताड़ना का मामला : दहेजलोभियों की समाज में कमी नहीं है. लेकिन जब बड़े प्रशासनिक अशिकारियों पर ऐसा मामला दर्ज हो जाए तब लोग हैरत में आ गए. ऐसा ही कुछ 19 अप्रैल को कोरबा जिले में हुआ जब कटघोरा अनुभाग के एसडीएम के कौशल प्रसाद तेंदुलकर के खिलाफ उनकी पत्नी ने बिलासपुर के महिला थाने में दहेज प्रताड़ना का मामला दर्ज करवाया. इसी तरह कोरबा जिले की एक नवविवाहिता ने आईएएस पति संदीप कुमार झा, जो मूलतः बिहार दरभंगा के निवासी हैं. उनके खिलाफ मामला दर्ज कराया, जो इस समय तेलंगाना कैडर के अधिकारी हैं. तेंदुलकर की पत्नी ने शिकायत दर्ज कराई कि ससुराल वाले मायके से ढाई लाख रुपये लाने के लिए दबाव बना रहे हैं. इस मामले में पुलिस ने मामला दर्ज किया था. जबकि आईएएस पति पर पत्नी ने आरोप लगाया कि वह पौने दो करोड़ रुपए से ज्यादा के उपहार दहेज में लाई थी. इसके बाद भी प्रताड़ित किया जाता रहा और अप्राकृतिक कृत्य के लिए भी मजबूर किया जाता था.
5. 7 साल की बच्ची से सामूहिक दुष्कर्म :कोरबा शहर में एक ऐसा मामला सामने आया जिसने सभी को झकझोर कर रख दिया. दुष्कर्म के कई मामले 2023 में दर्ज हुए, लेकिन इस मामले ने समाज को सोचने पर मजबूर किया. शहर के एक वार्ड में 7 साल की बच्ची को चॉकलेट दिलाने के बहाने एक गोदाम में ले जाकर दो युवकों ने सामूहिक दुष्कर्म किया. मामला और भी चर्चा में इसलिए आ गया क्योंकि दुष्कर्म करने वालों में से एक कोरोना पॉजिटिव निकला. जबकि दूसरे को उसके परिजन मानसिक रोगी बताकर बचाने की कोशिश कर रहे थे. बच्ची को डरा धमका कर किसी को कुछ ना बताने की बात भी दुष्कर्मियों ने कहीं थी. सिविल लाइन थाने में अपराध दर्ज किया गया. आरोपियों को गिरफ्तार भी कर लिया गया था. इनमें से एक व्यक्ति को उसके परिजन मानसिक रोगी जरूर बता रहे थे. लेकिन इसका कोई प्रमाण प्रस्तुत नहीं कर पाए, इसके बाद पुलिस ने दुष्कर्म की धाराओं के तहत कार्रवाई की.