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कोरबा: कटघोरा नगरपालिका की टीम ने की अतिक्रमणकारियों पर कार्रवाई

कटघोरा में एसडीएम के निर्देशन और तहसीलदार के मार्गदर्शन में कब्जा हटाने की कार्रवाई की गई. कार्रवाई के दौरान पालिका के अमले ने कई गुमटी और ठेलों को जब्त किया.

action against Illegal possession in korba
कटघोरा नगर पालिका की कार्रवाई

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Published : Dec 27, 2020, 12:00 AM IST

कोरबा: शनिवार की सुबह तहसीलदार रोहित सिंह की अगुवाई में नगरपालिका के मुख्य कार्यपालन अधिकारी जेबी सिंह, अपने कर्मियों के साथ शहीद वीरनारायण चौक पहुंचे, फिर ताबड़तोड़ कार्रवाई करते हुए गुमटियों को जब्त कर लिया.

कटघोरा नगर पालिका की कार्रवाई

कटघोरा नगरपालिका क्षेत्र के मुख्य मार्ग में पिछले दिनों अवैध रूप से दुकान सजाकर आवागमन को बाधित करने वाले कब्जाधारियों को राजस्व और पालिका प्रशासन ने समझाइस दी थी. तब भी प्रशासन ने कई अवैध दुकानों को भी रास्ते से हटाया था. उक्त कार्रवाई के दौरान ही एसडीएम ने सभी अतिक्रमणकारियों को जल्द से जल्द दुकान-ठेले हटाकर, आवागमन बहाल करने के आदेश दिए गए थे. इनमें से कई गुमटी व्यवसायियों ने प्रशासन के सख्ती को भांपकर अपना कब्जा हटा लिया था. लेकिन कई जिद्दी व्यवसायी फुटपाथ पर अब भी जमे हुए थे.

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समोसा दुकान संचालक के आधे दर्जन ठेले जब्त

पालिका-प्रशासन की अनदेखी का फायदा उठाकर शहर में अवैध कब्जे का खेल किस तरह जारी है, इसकी बानगी उस वक़्त देखने को मिली जब तहसीलदार को यह मालूम चला कि मुख्य चौक पर रखे 6 ठेले एक ही शख्स के हैं. जबकि वह शख्स खुद भी अपना एक बड़ा कब्जा बस स्टैंड के मुख्यद्वार पर करते हुए, वहां लंबे वक्त से होटल का संचालन कर रहा है. जानकारी जुटाने पर मालूम हुआ कि शम्भू यादव नाम का यह कब्जाधारी इन दुकानों और कब्जे के एवज में किरायेदारों से मोटी रकम भी वसूल करता है. उसने अपने सभी ठेले किराये पर चढ़ा दिए थे. तहसीलदार ने तत्काल शम्भू के सभी ठेले-गुमटियों को जब्त कर लिया. गौर करने वाली बात ये है कि प्रशासन ने शम्भू को पहले भी कई दफे दुकान हटाने का आदेश दे चुके थे. उसे इसके लिए नोटिस भी थमाया गया था.

दुर्घटना की आशंका पर कार्रवाई

मीडिया से चर्चा करते हुए सीएमओ जेबी सिंह ने बताया कि कब्जाधारी नगर पालिका के निर्देश की अनदेखी कर रहे थे. उन्हें सख्त लहजे में समझाया भी जा चुका है. लेकिन वो मानने को तैयार नहीं है. ऐसे में उनके पास उनके ठेले को जब्त करने के अलावा कोई चारा नहीं है. सड़क पर सजी इन दुकानों की वजह से खरीदार सड़क पर ही वाहन खड़ा कर खरीदी करने में जुट जाते हैं. इससे अनावश्यक भीड़ भी बढ़ती है. दूसरी ओर पूरे समय छोटे-बड़े वाहनों का आवागमन भी जारी रहता है. इससे किसी भी तरह की दुर्घटना से इनकार नहीं किया जा सकता.

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