कोरबा:राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण बिलासपुर की अभिनव पहल पर आयोजित ई-मेगा कैंप में शनिवार को कोरबा जिले के 4 हजार 985 हितग्राहियों को विभिन्न शासकीय योजनाओं के तहत 4 करोड़ 97 लाख रुपए से ज्यादा की सहायता मिली है.
मछली पालकों को दी गई सहायता जनसामान्य को दी गई योजनाओं की जानकारी
जिला विधिक सेवा प्राधिकरण कोरबा जिला एवं जिला प्रशासन कोरबा के इस संयुक्त आयोजन में वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए से कोरोना काल में शासन के कल्याणकारी योजनाओें की जानकारी भी जनसामान्य को दी गई. जिला न्यायालय में जिला न्यायाधीश राकेश बिहारी घोरे के नेतृत्व में ई-मेगा कैंप का आयोजन किया गया. इस दौरान कलेक्टर किरण कौशल, पुलिस अधिक्षक अभिषेक मीणा, जिला पंचायत के सीईओ कुंदन कुमार सहित शिक्षा, श्रम, महिला एवं बाल विकास, समाज कल्याण और पंचायत तथा ग्रामीण विकास विभाग के जिला स्तरीय अधिकारी भी मौजूद रहे.
थीम - सर्वजन हिताय-सर्वजन सुखाय: आर्थिक सशक्तिकरण राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण बिलासपुर ने इस साल इस विशेष ई-मेगा कैंप की थीम 'सर्वजन हिताय-सर्वजन सुखाय: आर्थिक सशक्तिकरण' निर्धारित की है. जो गरीबी उन्मूलन योजनाओं के प्रभावी क्रियान्वयन योजना नालसा पर आधारित है. जिला न्यायालय के वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग कक्ष से ई-मेगा कैंप को यू-ट्यूब और फेसबुक लाइव के माध्यम से आयोजित किया गया. कैंप का दूसरा सम्पर्क वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए से जिला पंचायत के सभा कक्ष में रखा गया था. जिला पंचायत के सभा कक्ष से शासकीय योजनाओं से लाभान्वित होने वाले हितग्राही भी इस कैंप में शामिल हुए.
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हितग्राहियों को दी गई सहायता
मेगा कैंप में 81 स्वसहायता समूहों की महिलाओं को एक करोड़ 60 हजार रुपये का ऋण वितरण किए गए. समाज कल्याण विभाग की ओर से छह हितग्राहियों को राष्ट्रीय परिवार सहायता योजना के तहत एक लाख 20 हजार रुपये की सहायता दी गई है. इसी तरह 29 लाख 50 हजार रुपये की लागत से 60 दिव्यांग जनो को माॅटराइज्ड ट्राई साइकिल और तीन अन्य दिव्यांगजनों को सामान्य ट्राई साइकिल प्रदान की गई. श्रवण बाधित तीन हितग्राहियों को श्रवण यंत्र भी वितरित किए गए. श्रम विभाग की विभिन्न योजनाओं के तहत 459 श्रमिकों को 49 लाख 15 हजार रुपये की सहायता इस ई-मेगा कैंप में उपलब्ध कराई गई. महिलाकोष के जरिए से दस महिलाओं को रोजगार के लिये पांच लाख रुपये का ऋण उपलब्ध कराया गया. ई-मेगा कैम्प में एक हजार 854 मछली पालक किसानों को दो करोड़ 19 लाख 90 हजार 788 रुपये की लागत के आदान सामग्री और मछली बीज प्रदान किये गये.
मछली पालकों को दी गई सहायता
मत्स्य उत्पादकों को 38 लाख 29 हजार रुपये से ज्यादा की लागत से तालाबों में मछली पालन के लिए काॅमन काॅर्प प्रजाति के और 20 लाख 91 हजार 700 रुपये की लागत से ग्राम काॅर्प मछली बीजों का भी वितरण किया गया. वहीं 97 लाख 16 हजार 852 रुपये की लागत से मछली पालकों को मत्स्य आखेट के लिये जाल, 60 लाख 70 हजार 500 रुपये की लागत से मछली उत्पादकता बढ़ाने पूरक पोषक आहार, फुटकर मछली विक्रेताओं को 2 लाख 82 हजार रुपये से ज्यादा के आईस बाॅक्स भी वितरित किए गए.
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कृषि विभाग हितग्राहियों को दी गई सहायता
कृषि विभाग को 2 हजार 450 हितग्राहियों को 6 लाख 20 हजार रुपये की लागत से चना और सरसों की मिनी किट वितरित किए गए. उद्यानिकी विभाग ने 2 लाख 15 हजार रुपये की लागत से 22 हितग्राहियों को टमाटर बीज और सब्जी बीज के मिनी किट भी ई-मेगा कैंप में मिले. छात्र सुरक्षा बीमा योजना के तहत 8 विद्यार्थियों को 8 लाख रुपये और आयुष्मान योजना के तहत 65 लाख रुपये की सहायता दी गई. ई-मेगा कैंप में अनुसूचित जाति जनजाति अत्याचार निवारण अधिनियम के तहत दी जाने वाली सहायता से भी 16 पीड़ितों को लाभान्वित किया गया और दस लाख 75 हजार रुपये की सहायता राशि दी गयी.