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वन मंडल कोरबा के जंगलों में भीषण आग, ग्राउंड जीरो पर पहुंचा ETV भारत - Attempts to extinguish fire

वन मंडल कोरबा के जंगलों में भीषण आग लगी हुई है. कोरबा वन मंडल और बालको रेंज के अजगरबहार, माखुरपानी चुइय और हल्दीमाड़ा सहित आस पास के जंगलों में लगी आग नहीं बुझ पा रही है. ETV भारत की टीम हालात का जायजा लेने ग्राउंड जीरो पर पहुंची. वन विभाग को भी स्थिति की सूचना दी गई है.

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ग्राउंड जीरो से ETV भारत की रिपोर्ट

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Published : Mar 13, 2021, 8:00 PM IST

कोरबा: वन मंडल कोरबा के जंगलों में भीषण आग लगी है. गर्मी के मौसम में जंगलों में लगने वाली आग वन विभाग के लिए एक बड़ी चुनौती है. इससे निपटने के लिए ना तो कई अग्रिम तैयारी की गई है. और न ही आग को फैलने से रोकने के लिए वन विभाग के पास कोई कारगर उपाय है. इस साल भी वन अमला मूकदर्शक बनकर हाथ पर हाथ धरे बैठा है. इस आग से वनोपज को बड़ी मात्रा में नुकसान पहुंच रहा है.

ग्राउंड जीरो से ETV भारत की रिपोर्ट

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अजगरबहार और आस-पास के जंगलों में लगी आग
कोरबा वन मंडल और बालको रेंज के अजगरबहार, माखुरपानी चुइय और हल्दीमाड़ा सहित आस पास के जंगलों में भीषण आग लगी हुई है. पहाड़ों से लेकर मैदानी इलाकों तक आग फैल चुकी है. आग का फैलना लगातार जारी है. लेकिन वन अमले के पास आग को बुझाने के कोई पुख्ता इंतजाम नहीं हैं. स्थानीय ग्रामीणों की माने तो यह आग पिछले लगभग 1 हफ्ते से लगी हुई है. लेकिन वन अमले का कोई भी कर्मचारी आग पर काबू पाने के लिए मौके पर नहीं पहुंचा है. जिससे ग्रामीणों को भी अब डर लगने लगा है.

जंगलों में भीषण आग

वन संपदा को भारी नुकसान

दावानल का फैलाव जंगलों के लिए बेहद नुकसानदेह होता है. इससे वन संपदा को बेहद नुकसान पहुंचता है. तेंदूपत्ता, कोदो, कुटकी जैसे वनोपज जलकर नष्ट हो जाते हैं. साल, सागौन और बीजा जैसी कीमती इमारती लकड़ियों को भी काफी नुकसान पहुंचता है. कोरबा जिला वनों के लिए ही जाना जाता है. कोरबा का क्षेत्रफल 7 लाख 14 हजार 544 हेक्टेयर है. जिसमें से 2 लाख 83 हजार 497 हेक्टेयर वन भूमि है. कोरबा जिले के कुल क्षेत्रफल के 40% हिस्से में वन है.

वन मंडल कोरबा के जंगलों में भीषण आग

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कोरबा जिले में वनों के अत्यधिक प्रतिशत होने के कारण ही यह वनोपज के मामले में काफी समृद्ध है. कई तरह के औषधीय गुण वाले पेड़ पौधों के साथ ही कोरबा के वनों में कुछ दुर्लभ प्रजाति के पौधे भी पाए जाते हैं. कोरबा की जैव विविधता को प्रदेश भर में काफी समृद्ध माना जाता है. ऐसे में इस तरह की आग कोरबा के जंगलों के लिए काफी बड़ी क्षति है.

जीव जंतुओं को भी नुकसान

जंगल की आग से पेड़ पौधों के साथ ही वन अमले के नियमित अंतराल पर किए जाने वाले पौधारोपण को भी बड़े पैमाने पर नुकसान पहुंचा है. आग के कारण पेड़ के कोमल पत्ते मुरझा रहे हैं. इसके साथ ही जंगल में निवास करने वाले जीव जंतुओं को भी इससे काफी परेशानी हो रही है. छोटे-छोटे जीव जंतु आग की चपेट में आ रहे हैं. वहीं बड़े जानवर भी आग से घबराकर जंगल से पलायन कर रहे हैं. कई बार जानवर बस्तियों मे भी पहुंच रहे हैं.

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आग बुझाने का प्रयास जारी: वन विभाग
ईटीवी भारत ने कोरबा वनमंडल की डीएफओ प्रियंका पांडे को आग की घटना से अवगत कराया है. उनका कहना है कि आग लगने की सूचना उन्हें भी मिली है. आगे उन्होंने कहा कि मैदानी अमले को सक्रिय कर दिया गया है. आग कितनी तीव्र है, इससे कितना नुकसान हुआ इस तरह की जानकारी फिलहाल दे पाना संभव नहीं है. इसलिए अधिकृत तौर पर मैदानी अमले से जानकारी लेकर ही कुछ कहा जा सकेगा.

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