कोंडागांव: छत्तीसगढ़ सरकार ने 2 करोड़ 18 लाख रुपए की लागत से जगदलपुर-रायपुर नेशनल हाईवे 30 पर मुक्तिधाम का निर्माण कार्य कराया है. महज 15 महीने में 'बी' क्लास कॉन्ट्रैक्टर हरीश कुमार गोलछा ने स्थानीय होने के कारण जल्द गुणवत्तापूर्ण काम किया. साथ ही सभी प्रकार की सुविधाओं का विशेष ध्यान रखा गया है. इसके सौंदर्य में तनिक भी कोताही नहीं बरती गई है, फिर चाहे बैठने के लिए प्रतीक्षालय हो, या पानी की व्यवस्था हो. सभी का ध्यान रखा गया है. शनिवार को छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल मुक्तिधाम का शुभारंभ करेंगे.
श्मशान घाट में फलदार, फूलदार और छायादार वृक्षों के साथ ही खुशबूदार पौधे भी लगाए गए हैं. जो यहां की सुंदरता में चार चांद लगाएंगे. श्मशान घाट को अब मुक्तिधाम के नाम जाना जाएगा. शनिवार को छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल मुक्तिधाम का शुभारंभ करेंगे.
कोंडागांव में सीएम भूपेश बघेल करेंगे मुक्तिधाम का शुभारंभ निर्दोष ग्रामीणों की हत्या और मारपीट नक्सल संगठन के खात्मा का बनेगा कारण: ताम्रध्वज साहू
मुख्यमंत्री भूपेश बघेल मुक्तिधाम का शुभारंभ करेंगे
प्रतीक्षालय में रोशनी और पानी की रहेगी व्यवस्था पीसीसी चीफ मोहन मरकाम ने जानकारी देते हुए बताया कि हमारी सरकार आने के कोंडागांव वासियों का लंबा समय का सपना पूरा हुआ है. कोंडागांव जिला मुख्यालय होने और अधिक आबादी के कारण सभी मौसमों में लोगों को होने वाली परेशानी अब दूर हो गई है. नगरवासियों के लिए अच्छी खबर है. अब उन्हें शव जलाने के लिए परेशानियों का सामना नहीं करना पड़ेगा. नगर के नेशनल हाइवे 30 के पास नारंगी नदी के किनारे मुक्तिधाम में इसकी मुकम्मल व्यवस्था की गई है. सारी सुविधाओं से लैस मुक्तिधाम का निर्माण नगरीय प्रशासन ने कराया है, जिसे नगर परिषद के हवाले किया जा रहा है. शनिवार को छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल मुक्तिधाम का शुभारंभ करेंगे.
अत्याधुनिक तकनिकों से लैस प्रतीक्षालय में रोशनी और पानी की रहेगी व्यवस्था
जगदलपुर-रायपुर नेशनल हाईवे पर बना मुक्तिधाम मुक्तिधाम में चारों तरफ से बाउंड्रीवॉल बनाई गई है. सामने बड़ा सा गेट और अंदर सीसी सड़क बनाई गई है. सभी पेड़ों को बस्तर आर्ट की तर्ज पर डिजाइन किया गया है. साथ ही 6 प्रतीक्षालय, तीन पानी टंकी और नदी तक जाने के लिए सीढ़ियां बनाई गई हैं. मुक्तिधाम में शव 24 घंटे जलाये जा सकेंगे. इसके लिए रोशनी और पानी की समुचित व्यवस्था की गई है. बोरिंग के सहारे डैम्प से लेकर पानी टंकी और नल की व्यवस्था की गई है. बिजली नहीं होने की स्थिति में सोलर से चलने वाले पम्प लगाये गए हैं. इसके साथ ही तीन शौचालय और पेशाब घरों का अलग से निर्माण कराया गया है. पांच प्रतीक्षालय बनाये गए हैं, जिसमें पांच सौ से अधिक लोग एक साथ बैठ सकते हैं. मुक्तिधाम की जिम्मेवारी नगरपालिका परिषद की होगी
मुक्तिधाम का 2 करोड़ 18 लाख की लागत से हुआ है निर्माण मुख्य नगर पालिका अधिकारी सूरज सिदार ने बताया कि मुक्तिधाम बनकर पूरी तरह तैयार हो चुका है. मुक्तिधाम में एक सरकारी कफन और लकड़ी की दुकान खोला जाना है. जल्द ही दुकान खुलेगी और मुक्तिधाम का उद्घाटन किया जाएगा. इसकी देख रेख की जिम्मेवारी नगरपालिका परिषद की होगी. आने वाले समय में शवों को जलाने के इलेक्ट्रानिक्स हीटर की व्यवस्था का प्रावधान है, जिसके बाद लोगों को लकड़ी के झंझट से मुक्ति मिल जाएगी.