कांकेर में ब्लूटूथ स्पीकर को जवानों ने समझा IED, फिर अचानक हुआ ये ? - आईईडी
Kanker Crime News कांकेर के पीव्ही 91 के पास चितरंजन नगर गांव में नक्सलियों ने जियो टावर में बैनर पोस्टर लगाए थे.लेकिन जब सुरक्षा बल के जवान यहां पहुंचे तो उन्हें वायर लगा एक डिवाइस दिखा.जो बाद में ब्लूटूथ स्पीकर निकला.
कांकेर : नक्सलियों ने जिले के बांदे थाना क्षेत्र अंतर्गत पीव्ही 91 चितरंजन नगर गांव के जियो टावर के पास बैनर पोस्टर लगाए थे.इसी दौरान जब जांच दल मौके पर पहुंचा तो उन्हें एक वायर दिखाई दिया.जो एक डिवाइस से कनेक्ट था.आईईडी की आशंका जाहिर करते हुए सुरक्षा बलों की जांच टीम ने मौके पर बम निरोधक दस्ते को बुलाया.
तीन घंटे तक हुई जांच : नक्सलियों ने जिस डिवाइस को वायर से कनेक्ट किया था.उसे जांच करने के लिए बीएसएफ जवानों के साथ बम स्क्वॉड भी पहुंचा था.इस दौरान हर तरह से डिवाइस की जांच की गई.तीन घंटे बाद जब जांच दल ने करीब से जाकर डिवाइस का निरीक्षण किया तो पता चला जिसे टीम आईईडी समझ रही थी.वो एक ब्लूटूथ स्पीकर था.
बैनर पोस्टर के साथ लगाया था ब्लूटूथ स्पीकर
जियो टावर में की थी आगजनी :आपको बता दें कि 16 नवम्बर को छोटेबेटिया थाना क्षेत्र में चितरंजन गांव में नक्सलियों ने जियो टावर में आगजनी की थी.जिसमें मोबाइल टावर के जनरेटर को नुकसान पहुंचाया गया था. उसी जगह पर नक्सलियों ने बैनर पोस्टर लगाया था. जहां बीएसएफ के जवान घटना स्थल में सर्चिंग कर रहे थे.वायर दिखने पर आईईडी होने की आशंका हुई. लेकिन 3 घंटे सर्च करने पर ब्लूटूथ स्पिकर मिला. नक्सली बैनर पोस्टर के माध्यम से पीएलजीए 23वी वर्षगांठ 2 दिसंबर से 8 दिसंबर तक मानने अपील कर रहे हैं.
शुक्रवार को हुई है मुठभेड़ :कांकेर के आमाबेड़ा के जंगल में पुलिस और नक्सलियों के बीच मुठभेड़ हुई थी. डीआरजी और बीएसएफ के जवान एरिया डोमिनेशन के लिए निकले थे. तभी नक्सलियों ने जवानों पर हमला बोल दिया. जवाबी कार्रवाई में जवान नक्सलियों पर भारी पड़े.जवानों को खुद के ऊपर भारी पड़ता देख नक्सलियों ने मैदान छोड़कर भागने में ही भलाई समझी.इसके बाद नक्सली जंगल का फायदा उठाकर भाग खड़े हुए.