जशपुर: बगीचा इलाके में पहाड़ी कोरवा जनजाति की दो नाबालिग लकड़ियां खेत में बेहोशी की हालात में मिली है. ग्रामीणों ने इसकी सूचना पुलिस को दी है. पुलिस ने नाबालिगों को इलाज के लिए बगीचा स्वास्थ्य केन्द्र में भर्ती कराया है. दोनों लड़कियों की हालत खतरे से बाहर बताई जा रही है.
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परिजनों ने मीडिया को दिए बयान में बताया कि घर में खाने को चावल नहीं है. बच्चियां सड़ा चावल खाने की वजह से बेहोश हो गई हैं. बच्चियां भूख के कारण बेहोश हुई है.
बगीचा स्वास्थ्य केन्द्र के डॉक्टर्स ने बताया कि फूड प्वॉइजनिंग की वजह से दोनों लड़कियां बेहोश हुई थी. फिलहाल दोनों खतरे से बाहर है.
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गेंहू के खेत में मिली 2 बेहोश बच्चियां
थाना प्रभारी भास्कर शर्मा ने बताया कि बगीचा तहसील के झांपीदरहा बस्ती की घटना है. झांपीदरहा बस्ती में दोनों लड़कियां गेंहू के खेत गई थी. जहां दोनों बेहोश हो गई. ग्रामीणों ने मामले की सूचना पुलिस को दी थी, जिसके बाद पुलिस की टीम पहुंची. स्थानीय लोगों की मदद से बेहोशी की हालत में बच्चियों को अस्पताल में भर्ती कराया गया है.
2015 में एक पहाड़ी कोरवा की भूख से हुई थी मौत
2015 में पहाड़ी कोरवा लंबू राम की भी भूख मौत हुई थी. इसे लेकर जमकर सियासी बवाल मचा था. उस समय विपक्ष की भूमिका निभा रही कांग्रेस के आला नेता सन्ना गांव पहुंचकर धरना प्रदर्शन किए थे. कांग्रेस ने भाजपा सरकार को जमकर घेरा था. हालांकि पोस्टमार्टम रिपोर्ट के बाद जिला प्रशासन ने लंबू राम की भूख से मौत होने के दावे को खारिज कर दिया था.