जगदलपुर:फर्जी नक्सल मामलों में जेलों में वर्षों से बंद आदिवासियों की रिहाई प्रक्रिया शुरू हो गई है. ऐसे कैदियों के मामलों की समीक्षा के लिए जस्टिस एके पटनायक की अध्यक्षता में गठित समिति ने 1 अक्टूबर को नक्सल मामले में बंद 620 आदिवासियों की रिहाई के अनुशंसा की थी. इनमें से 451 आदिवासियों पर चल रहा अभियोजन सरकार वापस लेगी, जबकि अन्य 169 आदिवासियों को 'प्ली ऑफ बारगेनिंग' के तहत छोड़ा जाएगा.
जानकारी के मुताबिक बस्तर संभाग के जेलों में बंद फर्जी नक्सल मामलों में आदिवासियों को रिहा करने के लिए तीन बैठक हो चुकी है और आखिरी बैठक में कुल 620 आदिवासी बंदियों की रिहाई की अनुशंसा की जा चुकी है. इन बैठकों के बाद 404 कैदियों के प्रकरण से अभियोजन वापस लेने और 81 प्रकरणों को धारा 265 ए दंड प्रक्रिया संहिता के तहत 'प्ली ऑफ बारगेनिंग' के तहत छोड़ने की अनुशंसा की गई थी. बस्तर आईजी ने कहा कि न्यायालय चल रहे मामलों के वापसी की प्रक्रिया अभियोजक शाखा से की जा रही है. वहीं आदिवासियों के खिलाफ विभिन्न न्यायलयों में जो मुकदमा चल रहा है उन मामलों में भी प्रकरण की समीक्षा की जा रही है.
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