जगदलपुर: बस्तर में भी भाजपा ने प्रदेश सरकार की धान खरीदी नीति को लेकर एक दिवसीय धरना-प्रदर्शन किया. जगदलपुर में भाजपा नेता और कार्यकर्ताओं ने शहर में ट्रैक्टर और बैलगाड़ी से रैली निकालकर आड़ावाल मुख्य मार्ग पर धरना-प्रदर्शन किया. मौके पर बड़ी संख्या में भाजपा कार्यकर्ताओं के साथ बस्तर के किसान भी मौजूद रहे.
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प्रदर्शन के दौरान भाजपा के नेताओं ने कहा कि पूरे प्रदेश में धान खरीदी को लेकर किसानों को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है. गिरदावरी में किसानों का रकबा कम करने के साथ ही बारदानों की कमी से जूझ रहे खरीदी केंद्रों में किसानों को बाहर से बोरी खरीद कर अपना धान बेचने को मजबूर होना पड़ रहा है. किसानों से मात्र 15 रु में बोरी खरीदी जा रही है और उसका भी भुगतान नहीं किया जा रहा है. जिससे किसानों को काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है.
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आधी अधूरी तैयारियों के बीच हो रही धान खरीदी
जगदलपुर विधानसभा के आड़ावाल में बुधवार को भाजपा के एक दिवसीय धरना प्रदर्शन के तहत बस्तर भाजपा के सभी दिग्गज नेताओं ने शहर में बैलगाड़ी और ट्रैक्टर से रैली निकालकर विरोध प्रदर्शन किया. जगदलपुर के पूर्व विधायक और भाजपा के नेता संतोष बाफना ने कहा कि राज्य सरकार धान खरीदी नीति को लेकर पूरी तरह से विफल है. एक तो पहले ही किसानों के धान लेट खरीदी जा रही है और केवल 31 जनवरी तक ही किसानों को धान बेचने का समय सीमा दिया गया है. इसमें भी धान खरीदी केंद्रों में आधी अधूरी तैयारियों के बीच किसानों से धान खरीदी की जा रही है.
16 वर्षों में पहली बार किसान धान बेचने को लेकर है परेशान
संतोष बाफना ने कहा कि पूरा बस्तर संभाग बारदानों की कमी से जूझ रहा है. इसके अलावा तौल में भी गड़बड़ी की बात सामने आ रही है. जिससे किसानों को काफी नुकसान हो रहा है. उन्होंने कहा कि 16 वर्षों में यह पहली बार हुआ है कि किसानों को खुद बोरी खरीद कर धान बेचने को मजबूर होना पड़ रहा है और उसका भी भुगतान किसानों को नहीं किया जा रहा है.
बारदाने की कमी से धान खरीदी प्रभावित
संतोष बाफना ने कहा कि बारदानों की कमी की वजह से कुछ जगहों पर धान खरीदी भी बाधित हो रही है. इसके अलावा धान का भी उठा नहीं हो रहा है. संतोष बाफना ने कहा कि राज्य सरकार अपनी विफलताओं को लेकर केंद्र सरकार पर बारदाने नहीं देने का आरोप मढ़ रही है, जबकि विधानसभा सत्र के दौरान प्रदेश के मुख्यमंत्री ने सरकार के पास पर्याप्त बारदाना होने के बड़े-बड़े दावे किए थे और अब धान खरीदी केंद्रों में बारदाना की कमी से किसानों को जूझना पड़ रहा है. संतोष बाफना ने कहा कि आगामी 22 जनवरी को किसानों के साथ सरकार की धान खरीद नीति के खिलाफ जिला मुख्यालयों में भी धरना प्रदर्शन किया जाएगा.