जगदलपुर : प्रशासन की लाख कोशिशों के बावजूद बस्तर में बारिश के शुरू होते ही मलेरिया के मरीजों की संख्या में लगातार इजाफा होता जा रहा है. शहरी इलाके के साथ ग्रामीण अंचलों में भी बड़ी संख्या में लोगों को मलेरिया के शिकार हो रहे हैं.
बस्तर में फैल रहा मलेरिया. जिले के सबसे बड़े अस्पताल और डीमरापाल मेडिकल कॉलेज में ही पिछले कुछ दिनों में 40 से अधिक लोग मलेरिया से ग्रसित होकर भर्ती हो चुके हैं. इसके बावजूद प्रशासन मलेरिया की रोकथाम के लिए पर्याप्त उपाय करने में असमर्थ दिख रहा है.
30 से अधिक लोग मलेरिया के शिकार
जिले के मुख्य स्वास्थ्य अधिकारी का भी मानना है कि, 'बारिश के शुरू होते ही मच्छरों की संख्या में काफी इजाफा होता है, इसीलिए मलेरिया के चपेट में अधिक से अधिक लोग आते हैं. मेडिकल कॉलेज में ही अभी 30 से अधिक लोग मलेरिया से पीड़ित होकर भर्ती हुए हैं, जिनमें बच्चों की संख्या ज्यादा है'.
3 हजार से अधिक लोगों का मलेरिया टेस्ट
स्वास्थ अधिकारी के मुताबिक जनवरी 2019 माह से जून माह तक 3000 से अधिक लोगों का मलेरिया टेस्ट किया गया है, जिसमें 700 से अधिक लोग मलेरिया पॉजिटिव पाए गए हैं, जिनमें बच्चों और ग्रामीणों की संख्या ज्यादा है'.
तैयारी के दावे कर रहा स्वास्थ्य विभाग
स्वास्थ विभाग के अधिकारी दावा कर रहे हैं कि, 'जिले के सभी ब्लॉकों के स्वास्थ केन्द्रों में मलेरिया से निपटने के लिए पर्याप्त दवाईयां, संसाधन मुहैया करवा दिए गए हैं'. इन 6 महीनों में ही 8 लोगों की मलेरिया से मौत हो चुकी है, बावजूद इसके मलेरिया से निपटने के लिए स्वास्थ विभाग ने न सिंथेटिक दवाईयों का छिड़काव किया है और न ही पर्याप्त मात्रा में ग्रामीण अंचलों में दवाईयां उपलब्ध करवाई हैं, जिससे मलेरिया पीड़ितों की संख्या में लगातार इजाफा हो रहा है.