गरियाबंद : जिले में एक बार फिर हाथियों की आमद (influx of elephants) बढ़ गयी है. हाथियों के तीन दल इन दिनों पांडुका, मैनपुर और फिंगेश्वर वन परिक्षेत्र में भ्रमण कर रहे हैं. वन विभाग से प्राप्त जानकारी के अनुसार तीन हाथियों का एक दल शुक्रवार शाम मुरमुरा गांव के आसपास देखा गया. वहीं एक गजराज को रात के अंधेरे में चरोदा गांव में घूमते देखा गया. चरोदा के ग्रामीणों ने बताया कि शुक्रवार रात एक हाथी उनके गांव में घुस आया. रात के अंधेरे में हाथी एक गली से दूसरी गली घूमता रहा और फिर कुंडेल की ओर चला गया. ग्रामीणों ने बताया कि यह तकरीबन रात 9 बजे की घटना है. ग्रामीण सोने की तैयारी कर रहे थे, उसी समय गांव में हाथी घुसने की खबर से अफरा-तफरी (chaos) मच गई.
गांव में हाथी घुसने की खबर से लोग दहशत में आ गए. हाथी पर नजर बनाए रखने के लिए ग्रामीण दुबक कर उसका पीछा करते रहे. लोगों ने हाथी के भय से घरों की छत पर चढ़कर अपनी जान बचाई. कुछ देर गांव की गलियों में विचरण करने के बाद जब हाथी निकलकर आगे बढ़ गया, तब जाकर ग्रामीणों की जान में जान आई. ग्रामीणों ने बताया कि इस दौरान हाथी ने गांव में कोई नुकसान नहीं पहुंचाया. बता दें कि बीते कुछ सालों से जिले में हाथियों की आमद लगातार बढ़ रही है. कभी ओड़िशा तो कभी महासमुंद से जिले में हाथियों का आना-जाना लगा हुआ है. हाथी अबतक कई लोगों की जान ले चुका है.
गरियाबंद में एक गली से दूसरी में घूमता रहा गजराज, लोगों ने छत पर चढ़कर बचाई जान
जिले में एक बार फिर हाथियों की आमद बढ़ गयी है. हाथियों के तीन दल इन दिनों पांडुका, मैनपुर और फिंगेश्वर वन परिक्षेत्र में भ्रमण कर रहे हैं. मुरमुरा, चरौदा और सिकासेर में हाथी अपनी उपस्थिति बनाए हुए हैं.
वन विभाग हाथियों के गुस्से से बचाने के लिए ग्रामीणों को हमेशा दूर रहने की सलाह देता रहा है. गांवों में गजराजमित्रों की भी नियुक्ति की गई है, ताकि गांव में हाथियों की आमद होने पर गजराज मित्र उन पर नजर बनाए रखें और हाथियों को गांवों में न घुसने दिया जाए. वन विभाग ने एक बार फिर ग्रामीणों को हाथियों से दूर रहने की सलाह दी है. गौरतलब है कि इसके अलावा दर्जनभर से अधिक हाथियों का दल सिकासेर बांध के आसपास भी घूम रहा है. इस वक्त गरियाबंद जिले में तीन स्थानों पर हाथियों की आमद से स्थानीय लोग काफी चिंतित हैं. मुरमुरा, चरौदा और सिकासेर में हाथी अपनी उपस्थिति बनाए हुए हैं.