धमतरी :पटाखा फैक्ट्री में धमाके की जगह से करीब 100 मीटर के दायरे में भी जो मकान हैं. उनके या तो छत उड़ गए हैं या फिर दीवारों में दरार आ गई है.धमाके की जगह अब बारूद की गंध और कमरे का मलबा ही बचा रह गया है. धमाका कैसे हुआ इसकी जांच की जा रही है.जानकारी मिलने के बाद मौके पर रुद्री थाना की पुलिस पहुंची और आसपास के लोगों को मौके से दूर रखने की कोशिश की.
बाद में दमकल की टीम आई और आग पर काबू पाया गया.इसके बाद धमतरी के एसडीएम और पुलिस के बड़े अफसर भी मौके पर पहुंचे और घटनास्थल का जायजा लिया गया. बताया जा रहा है कि करीब 20 साल पहले यह फैक्ट्री बनाई गई थी.तब यह बिल्कुल सुनसान जगह हुआ करती थी. लेकिन अब बारूद फैक्ट्री के आसपास बड़ी संख्या में रिहायशी मकान बन चुके हैं.
फैक्ट्री को बंद करने की मांग :बरारी गांव के फैक्ट्री प्रबंधन को विरोध का भी सामना भी करना पड़ा. क्योंकि धमाके के बाद गांव के लोगों ने मौके पर नारेबाजी कर फैक्ट्री को बंद कराने की मांग की है.इस धमाके के बाद कई तरह के सवाल खड़े हो रहे हैं. जैसे लाइसेंस के मुताबिक कितनी मात्रा में बारूद यहां रखा जा सकता है. वहीं जितना बारूद की परमिशन है क्या उससे ज्यादा बारूद यहां पर रखा गया था या नहीं .गांव का दायरा फैक्ट्री तक पहुंच चुका है तो क्या इस फैक्ट्री का लाइसेंस रद्द किया जाएगा.ये भी देखने वाली बात होगी.
जिला प्रशासन पर अब कार्रवाई करने की उम्मीद : इन सभी सवालों का जवाब जिला प्रशासन के जिम्मेदार अधिकारियों को देना होगा. साथ ही यह भी तय करना होगा कि इस तरह की फैक्ट्री के सुरक्षा के जो मानक हैं या स्टोरेज के जो मानक हैं उनका सही ढंग से पालन हो रहा है या नहीं.वहीं इसकी समय-समय पर जांच की जाती थी या नहीं. इस मामले में अब देखना होगा कि प्रशासन धमाके से क्या सबक लेता है और क्या कार्रवाई करता है.