दंतेवाड़ा: मुख्यमंत्री सुपोषण अभियान को सफल बनाने के लिए जिला प्रशासन और यूनिसेफ ने बीड़ा उठाया है. मुख्यमंत्री सुपोषण अभियान राज्य और देश में पहला ऐसा एमओयू है, जिससे गांव की दीदीयों और बुजुर्ग महिलाओं को कुपोषण से मुक्ति मिलेगी. क्षेत्रीय बोली में अभियान का नाम 'बापी न उवाट' (दादी के नुस्खे) रखा गया है. कलेक्टर ने प्रचार-प्रसार के लिए गाड़ी को हरी झंडी दिखाकर रवाना किया. गाड़ी के माध्यम से गांव-गांव में प्रचार किया जा सकेगा.
अंदरूनी क्षेत्रों के गांव-गांव में अभियान चलाया जाएगा. शासन-प्रशासन ने पूरी तैयारी कर रखी है. अभियान का नाम 'बापी न उवाट' रखा गया है. पुराने समय से चली आ रही परंपरा के अनुसार घर में रहने वाली बड़े बुजुर्ग दादी हैं. इसलिए इस अभियान का नाम 'दादी के नुस्खे' रखा गया है. इस अभियान के तहत अनेक प्रकार की बीमारियों से निजात मिलेगी.
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कुपोषण को मिटाने की जानकारी