दंतेवाड़ा: प्रशासन की पहल के साथ कोसा उत्पादन के क्षेत्र में लोगों ने कदम रखा है. जो धीरे-धीरे दंतेवाड़ा के साथ ही यहां के किसानों की जिंदगी बदल सकता है. प्रशासन यहां खाली पड़े जमीन पर कोसा उत्पादन के लिए किसानों की मदद कर रहा है. जिससे किसान भी इस ओर प्रेरित हो रहें हैं. खुद कलेक्टर ने यह पहल की है.
कोसा उत्पादन से बदलेगी नक्सलगढ़ की तस्वीर कोसा उत्पादन के साथ-साथ कोसरा, तिल और रागी की खेती करवाई जा रही है. खास बात यह है कि सब कुछ अधिकारियों और कर्मचारियों के देख रेख में हो रहा है. शुरूआत में 1 हजार डी एफ एल खाली पड़े पेड़ों में छोड़े गए थे जिससे अब करीब 2 लाख अंडे निकलने की किसान को उम्मीद है.
प्रक्रिया को समझ रहे किसान
125 एकड़ में कोसा, कोसरा, तिल और रागी की खेती में रागी ही एक ऐसी फसल रही जो देरी के कारण विफल रही मगर किसान दोबारा उसकी खेती करके सफल होने की बात कह रहे हैं. इस नई पहल से किसान भी जुड़ रहे हैं और कोसा उत्पादन की प्रक्रिया को समझ रहे हैं और कोसा के इल्लियों को पक्षियों से बचाने के लिए किसान जंगल में हमेशा मुस्तैद रहते हैं.
सफलता के बाद अन्य गांव भी जुड़ेंगे
फिलहाल यह परीक्षण गंजेनार पंचायत के 125 एकड़ जमीन में 140 किसानो को साथ लेकर किया गया है. सफल होने के बाद इसमें अन्य गांवों के किसानों को जोड़ने की योजना भी है.