छत्तीसगढ़

chhattisgarh

ETV Bharat / state

उज्ज्वला शेल्टर होम केस: महिला एवं बाल विकास विभाग पर उठ रहे सवाल - उज्ज्वला शेल्टर होम केस

उज्ज्वला शेल्टर होम के संचालक पर दुष्कर्म जैसे संगीन आरोप लगने के बाद, अब जाकर महिला एवं बाल विकास विभाग ने पुनर्वास केंद्र को बंद करने की सिफारिश केंद्र शासन से की है.

Ujjwala Shelter Home Case
उज्ज्वला शेल्टर होम केस

By

Published : Jan 25, 2021, 10:15 PM IST

Updated : Jan 25, 2021, 10:36 PM IST

बिलासपुर: उज्ज्वला शेल्टर होम के संचालक पर दुष्कर्म जैसे संगीन आरोप लगने के बाद, अब जाकर पुनर्वास केंद्र को बंद करने की सिफारिश केंद्र शासन से की गई है. महिला एवं बाल विकास विभाग ने इस संबंध में केंद्र शासन से पत्राचार किया है.

उज्ज्वला शेल्टर होम केस

दरअसल, महिलाओं और युवतियों के कल्याण के लिए संचालित उज्ज्वला गृह में हाल ही में सामने आई एक घटना ने संस्था की कार्यशैली पर सवाल खड़ा किया है. उज्ज्वला गृह में रहने वाली महिलाओं और युवतियों ने संस्था संचालक पर दैहिक शोषण के गंभीर आरोप लगाए हैं. इस घटना ने महिला एवं बाल विकास विभाग की कार्यप्रणाली पर भी सवाल खड़े कर दिए हैं.

पढ़ें-EXCLUSIVE: उज्ज्वला शेल्टर होम का काला और गंदा सच सुनिए

विभाग के अफसर और उनकी टीम हर साल यहां निरीक्षण की बात करती हैं, लेकिन हैरत की बात है कि यहां चलने वाले अनैतिक गतिविधियों की इन्हें अब तक भनक तक नहीं लगी. विभाग के मुताबिक 2018,19 और 2020 में उनकी टीम ने उज्जवला गृह का निरीक्षण किया था. बीते 17 जनवरी की रात भी टीम निरीक्षण के लिए पहुंची थी, लेकिन अफसर यहां मामला पकड़ नहीं पाए. हालांकि, कोर्ट में पीड़ितों के बयान के बाद मामले का पर्दाफाश जरूर हो गया है. दुष्कर्म, छेड़खानी और प्रताड़ना जैसे गंभीर अपराध के आरोप संचालक सहित अन्य कर्मचारियों पर लगे हैं.

पढ़ें-उज्ज्वला शेल्टर होम केस की हो उच्चस्तरीय जांच: धरमलाल कौशिक

हर साल 15 लाख रुपये मिलता था अनुदान

गौरतलब है कि हर साल उज्ज्वला महिला पुनर्वास केंद्र को शासन से 15 लाख रुपए का अनुदान मिलता था. महिला एवं बाल विकास विभाग के अधिकारी निरीक्षण करते रहे हैं, लेकिन इतनी बड़ी गड़बड़ी विभाग नहीं देख सका.

पढ़ें-उज्ज्वला शेल्टर होम केस: विपक्ष की उच्चस्तरीय जांच के सवाल को टाल गए सीएम !

जानिए उज्जवला गृह में कब क्या हुआ-

  • 17 जनवरी को मामला हुआ उजागर.
  • युवतियों ने संचालक व अन्य पर दुष्कर्म, छेड़खानी जैसे गंभीर आरोप लगाए.
  • 18 जनवरी को पुलिस ने उज्ज्वला गृह के कर्मचारियों पर धारा 294,323,342 के तहत अपराध दर्ज किया.
  • 19 जनवरी को पीड़ित युवतियां मीडिया के सामने आईं और संचालक पर दुष्कर्म,छेड़छाड़,मारपीट और प्रताड़ना जैसे गंभीर आरोप लगाए.
  • 20 जनवरी को महिला एवं बाल विकास विभाग के अधिकारियों ने अन्य युवतियों को उनके घर व अन्य सुरक्षित जगह शिफ्ट किया.
  • 20 जनवरी को ही पीड़िताओं ने आई जी से न्याय की गुहार लगाई और उन्हें उचित कार्रवाई को लेकर ज्ञापन सौंपा.
  • 21 जनवरी को पुलिस ने पीड़ितों का जिला कोर्ट में बयान दर्ज कराया.
  • 21 जनवरी को ही पुलिस ने संचालक जितेंद्र मौर्य को देर शाम गिरफ्तार किया और बाद में जेल भेजा.
Last Updated : Jan 25, 2021, 10:36 PM IST

ABOUT THE AUTHOR

...view details