बिलासपुर: पूरे प्रदेश में नशे का कारोबार तेजी से फल-फूल रहा है. नशे के सौदागरों के लिए राजधानी रायपुर, बिलासपुर और भिलाई इसके बड़े सेंटर्स के रूप में उभरे हैं. एलएसडी, एमडीएमए, एमकैट और कोकीन जैसे खतरनाक मादक पदार्थ जो बेहद महंगे दामों में उपलब्ध होते हैं, वे छत्तीसगढ़ के युवाओं को तेजी से अपनी जद में ले रहे हैं. नशे के कारोबार पर लगाम लगाने के लिए जिले के एसपी प्रशांत अग्रवाल के निर्देश पर लगतार कार्रवाई की जा रही है.
शुक्रवार देर रात को पुलिस ने कई हुक्का बारों और अवैध रूप से नशे का कारोबार करने वालों पर कार्रवाई की है. पुलिस ने ग्रीक होटल देवरीखुर्द, कोका गुरुनानक चौक, कोयला, नटराज, सिल्वर ओक, हैंग ओवर बार और रेस्टोरेंट पर छापेमार कार्रवाई की है. इस दौरान सिल्वर ओक होटल में कुछ लोग हुक्का पीते पाए गए. हुक्का पी रहे युवकों को पकड़कर थाने लाया गया. युवकों को समझाइश देकर छोड़ दिया गया. होटल के मैनजेर के खिलाफ कोटपा एक्ट के तहत कार्रवाई की जा रही है.
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छत्तीसगढ़ में बढ़ता नशे का कोरबार
पुलिस के ताबड़तोड़ छापे से हुक्का बार संचालकों में हड़कंप मचा हुआ है. नशे के कारोबारियों के हौसले पस्त हैं. एक ओर जहां गांव और शहर विकास की राह में आगे बढ़ रहे हैं, वहीं दूसरी ओर नशे की लत गांवों और शहरी क्षेत्रों में अपने पैर पसार रहा है. युवा पीढ़ी नशे की चपेट में आकर बर्बादी की ओर रुख कर रही है. युवाओं का एक बड़ा वर्ग नशे के लिए टैबलेट, सिरप और बॉनफिक्स जैसी दवाईयों का उपयोग कर रहा है. इसमें मुख्य रूप से स्कूली बच्चे शामिल हैं. छत्तीसगढ़ में पिछले 2 साल की तुलना में नशीले पदार्थों का करोबार तेजी से बढ़ा है. लगातार युवा वर्ग इसकी चपेट में आकर अपनी जान के साथ खिलवाड़ कर रहे हैं.