रायपुर :छत्तीसगढ़ हाईकोर्ट में राज्य के आईएएस अधिकारियों के खिलाफ शिकायतों पर कार्रवाई नहीं होने पर जनहित याचिका दायर की गई है. इस महत्वपूर्ण मामले में सुनवाई करते हुए हाईकोर्ट ने कार्रवाई के लिए तीन माह का समय दिया है. चिरमिरी निवासी आरटीआई कार्यकर्ता राजकुमार मिश्रा ने हाईकोर्ट में पीआईएल दायर की है. जिसमें छत्तीसगढ़ राज्य में 45 आईएएस अधिकारियों के विरुद्ध कई वर्षों से लंबित शिकायतों का निराकरण करने के लिए हाईकोर्ट से दिशा निर्देश जारी करने की अपील की गई थी. इन 45 अधिकारियों के विरुद्ध लंबित शिकायती प्रकरणों में राज्य सरकार को निर्णय लेना चाहिए था.इसके बाद उनके खिलाफ जांच करना था लेकिन ऐसा नहीं किया गया. इन अधिकारियों के विरुद्ध शिकायतें गंभीर प्रकृति की हैं. जनहित याचिका पर पहले सुनवाई में छत्तीसगढ़ सरकार ने 45 आईएएस अफसरों के विरुद्ध शिकायतें होने की बात कही थी.
कितनी शिकायतों का हुआ निराकरण :इस मामले में राज्य सरकार की ओर से सीएस अमिताभ जैन ने कोर्ट में जवाब प्रस्तुत किया है.जिसमें ये बताया गया कि प्रदेश में 45 आईएएस अधिकारियों के विरुद्ध लगभग 73 शिकायतें लंबित थीं. इनमें से 62 शिकायतों का निराकरण हो चुका है. शेष 11 शिकायतें अब भी लंबित हैं. चीफ जस्टिस की डिवीजन बेंच ने शेष 11 शिकायतों का निराकरण करने के लिए 3 महीने का समय निर्धारित किया है.
कब उठा था मामला :छत्तीसगढ़ विधानसभा में 17 नवंबर 2015 तक भारतीय प्रशासनिक सेवा के किन-किन अधिकारियों के विरुद्ध शिकायत प्रकरण लंबित है? यह सवाल विधायक देवजी भाई पटेल ने विधानसभा में प्रश्नकाल के दौरान पूछा था. विधायक देवजी भाई पटेल ने उनके नाम पदस्थापना सहित विवरण देने के लिए कहा था. इसके उत्तर में तात्कालिक मुख्यमंत्री डॉक्टर रमन सिंह ने बताया था कि 17 नवंबर 2015 तक भारतीय प्रशासनिक सेवा के 45 अधिकारियों के खिलाफ शिकायत लंबित हैं.