बलौदा बाजार:कोरोना वायरस के बाद लॉकडाउन की सबसे ज्यादा मार किसानों पर पड़ी है. छत्तीसगढ़ के किसान लॉकडाउन की वजह से बर्बादी के कगार पर हैं. प्रदेशभर में लॉकडाउन जारी है, जिससे किसान अपनी तैयार फसल को बेच नहीं पा रहे हैं. बलौबादा बाजार के तरबूज किसानों का हाल बेहद खराब है. लॉकडाउन की वजह से लाखों रूपए के तरबूज के फसल बर्बाद हो गए हैं, जिससे किसान अब सरकार से मुआवजे की गुहार लगा रहे हैं.
कसडोल के तकरीबन 35 किसानों ने सरकार से जमीन लीज पर लेकर 140 एकड़ में तरबूज की फसल लगाई थी, किसानों ने मेहनत कर फसल को उगाया फिर उसकी देख-रेख की, मवेशियों से बचाया. लेकिन जब फसल बेचने की बारी आई तो बेमौसम बारिश ने फसल को बर्बाद किया. अब बची कुची कसर कोरोना वायरस से हुए लॉकडाउन ने पूरी कर दी है. जिसने किसानों की कमर को तोड़ कर रख दिया है. हालात ऐसे हो गए हैं कि लॉकडाउन की वजह से किसान न तो खेत जा सकते हैं.. न ही घर से बाहर निकल सकते हैं, जिससे खेत में लगी फसल को मवेशी बर्बाद कर रहे हैं.
35 किसान नहीं बेच पाए फसल
कसडोल क्षेत्र के तिल्दा, डोंगरीडीह, मोहतरा, खर्वे, ठाकुरदिया के किसानों ने प्रत्येक वर्ष की तरह तरबूज की खेती की थी, जो केवल देश के कोने तक ही नहीं बल्कि विदेशों तक भी यहां का तरबूज पंहुचता है, लेकिन इस बार तरबूज की अच्छी पैदावार होने के बावजूद किसानों को लागत भी नसीब नहीं हो पायेगा. अब इन किसानों का सपना धरा का धरा रह गया है. 4 महीने की रखवाली के बाद भी अपने फसल को नहीं बेच पाए.