बलौदाबाजार: छत्तीसगढ़ में कोरोना का रफ्तार पहले से बेकाबू हो चुका है, वहीं छोटी-छोटी गलतियों के कारण अब और बढ़ने का खतरा बन गया है. कसडोल नगर पंचायत के कर्मचारी रोजाना कई गाड़ी कचरा कसडोल कोट मुख्य मार्ग के पास डंप कर रहे हैं. ऐसे में कचरे के साथ पॉलीथीन भी हवा में उड़कर खेतों में जा रहे हैं. अब किसानों को अपनी खेत बंजर होने का डर सता रहा है.
कोरोना संक्रमण के साथ कहीं खेत न हो जाएं बंजर नगर पंचायत की लापरवाही से कसडोल कोट मुख्य मार्ग से गुजरने वाले राहगीर भी परेशान हैं. कचरे की ढेर से उठने वाली बदबू के कारण आने जाने लोगों परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है. कुछ दिनों पहले ही इसी कचरे की ढेर में पीपीई किट भी मिला था, जिसके कारण कसडोल नगर में कोरोना संक्रमण का खतरा भी बढ़ गया है. कसडोल नगर पंचायत के कोट मुख्य मार्ग में कचरा डंप करने से नगरवासियों को काफी ज्यादा परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है.
पॉलीथीन की वजह से खेत बंजर हो रहे SPECIAL: बीमार तालाबों के लिए वरदान बना लॉकडाउन, निगम ने बदल दी 14 तालाबों की सूरत
पॉलिथीन उड़कर खेतों में पहुंच रही है
कसडोल नगर पंचायत को साफ और सुंदर बनाने के लिए नगर पंचायत के जनप्रतिनिधि और अधिकारी अभी तक कोई उपाय नहीं निकाल रहे हैं. इतना ही नहीं कसडोल के इस कचरे को दूसरी जगह में फेंकने की व्यवस्था भी नहीं की जा रही है, जिसके कारण कसडोल नगर का पूरा कचरा इस मुख्य मार्ग में फेका जा रहा है. कसडोल कोट मुख्य मार्ग में कचरा डंप होने से पॉलिथीन उड़कर खेतों में पहुंच रहा है, जिससे जमीन जहरीली और बंजर हो रही है.
कसडोल वासियों के लिए कचरा बना मुसीबत जल से जीवन : एक संत, जिसकी धुन से जिंदा हो गई दम तोड़ती नदी
प्लास्टिक से जमीन बंजर हो रही
ग्रामीण कृषि विस्तार अधिकारी सुनील खांडेकर का कहना है कि प्लास्टिक से जमीन बंजर होती है. एक बार किसी खेत मे प्लास्टिक जमना शुरू हो जाए, तो जमीन का बंजर होना तय है, क्योंकि प्लास्टिक डी कम्पोज नहीं होता, जिसके कारण जमीन को इससे काफी ज्यादा नुकसान होता है. वहीं नगर पंचायत सीएमओ का कहना है कि प्लास्टिक को रीसाइक्लिंग करने के लिए मशीन क्रय की गई है, जिससे जल्द ही कसडोल नगर प्लास्टिक मुक्त होगा. अब देखना होगा कि नगर पंचायत की यह दलील कितना कारगर सिद्ध हो पाती है. नगर वासियों को कब प्लास्टिक से छुटकारा मिल पाएगा.