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RT-PCR भी कई बार हो रहा है फेल, डॉक्टर से जानिए क्या करना चाहिए ? - rtpcr test pass of fail

कोरोना वायरस का व्यवहार इस बार बहुत बदला हुआ है. कुछ ऐसे केस सामने आ रहे हैं जिनमें संदिग्ध व्यक्ति की RT-PCR रिपोर्ट निगेटिव आती है, लेकिन वह व्यक्ति कोरोना से संक्रमित हो चुका होता है. ऐसी स्थिति क्यों बन रही है? मरीज क्या करें ? इन सवालों का जवाब तलाशने के लिए ETV भारत की टीम ने अंबिकापुर मेडिकल कॉलेज के डीन और वायरोलॉजिस्ट डॉक्टर रमनेश मूर्ति से खास बातचीत की है.

INTERVIEW WITH Virologist Dr Ramnesh MURTI
डॉ. रमनेश मूर्ति

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Published : Apr 17, 2021, 2:03 PM IST

Updated : Jul 25, 2023, 8:01 AM IST

सरगुजा: देश में कोरोना ने दोबारा कहर बरपाया है. छत्तीसगढ़ में कोरोना से हालात दिनों-दिन बिगड़ते जा रहे हैं. कोरोना संक्रमण को लेकर अफवाओं का बाजार भी उतना ही गर्म है जितनी तेजी से यह वायरस फैल रहा है. इस बार कुछ ऐसे केस सामने आ रहे हैं जिनमें संदिग्ध व्यक्ति की RT-PCR रिपोर्ट निगेटिव आती है, लेकिन वह व्यक्ति कोरोना से संक्रमित हो चुका होता है. ऐसी स्थिति क्यों बन रही है? मरीज क्या करें ? इन सवालों जवाब तलाशने ETV भारत की टीम ने अंबिकापुर मेडिकल कॉलेज के डीन और वायरोलॉजिस्ट डॉक्टर रमनेश मूर्ति से खास चर्चा की.

वायरोलॉजिस्ट डॉ रमनेश मूर्ति से खास बातचीत

सवाल: कोरोना से संक्रमित व्यक्ति की RT-PCR रिपोर्ट निगेटिव आती है ये कैसा केस है?

जवाब:रिपोर्ट का निगेटिव आना कई अलग-अलग परिस्थितियों की वजह से होता है. कई बार इंसान की शारीरिक परिस्थिति, सैंपल कलेक्शन की स्थिति और जांच की स्थिति के अनुसार ऐसा हो जाता है. जिसे जांचने के लिए सीटी स्कैन का सहारा लिया जा सकता है. लक्षण के आधार पर अनुमानित सतर्कता की भी जरूरत है.

सवाल: ऐसे मरीज क्या करें उनके लिए क्या सलाह है ?

जवाब: कोरोना से बचाव के लिए जारी गाइडलाइन का पालन तो हर किसी को करना है फिर चाहे वो पॉजिटिव हो या ना हो. वैक्सीन लगी भी हो तब भी इसे फॉलो करना है. सबसे अहम बात यह है की अगर आप में लक्षण हैं और आपकी रिपोर्ट निगेटिव आती है तो आप आराम से ना बैठें बल्कि डॉक्टर की सलाह लें. अपना इलाज शुरू कराएं. रिपोर्ट में संशय की स्थिति में सीटी स्कैन में जरिए इसे पता किया जा सकता है.

सवाल: न्यू म्यूटेंट की बात हो रही है ?

जवाब: वेबिनार के माध्यम से कई विशेषज्ञ चर्चा में रहते हैं. ऐसी बात जरूर है कि कोरोना का नया म्यूटेंट है, लेकिन बिना वायरोलॉजिकल शोध के इसकी पुष्टि नहीं की जा सकती और इसके होने से इनकार भी नहीं किया जा सकता.

सवाल: वायरोलॉजी लैब को अपग्रेड करने की तैयारी है क्या?

जवाब: यहां ऑटोमेटेड एक्सट्रेसन किट की कमी है. जिस वजह से रोजाना 15 सौ से 2 हजार जांच की स्पीड घटकर 8 से 9 सौ रह गई है. हमारी आरटी-पीसीआर और स्क्ट्रेक्टर मशीन रोजाना 15 से 18 घंटे चल रही है. किसी तकनीकी खराबी से यह बंद पड़ गई तो जांच बंद हो जाएगी. इसलिए हमने शासन से एक सेट एक्सट्रेक्टर और RT-PCR मशीन की मांग की है. जिससे जांच की स्पीड भी बढ़ेगी. दिल्ली से आई टीम ने हमारी सराहना की है और संसाधन बढ़ाने को कहा है. हमने मांग भेजी है.

इन बातों का रखें ख्याल

बातचीत के दौरान अहम बातें सामने आई कि वर्तमान में कोरोना के प्रकोप से बचना है तो खुद को बचाकर रखने में ही समझदारी है. जांच कराने में देरी बिल्कुल भी ना करें. RTPCR जांच में अगर आप संक्रमित नहीं पाये जाते हैं और आपको लक्षण हैं तो सिटी स्कैन का सहारा जरूर लें. अगर इस जांच में लंग्स इंफेक्शन के जरिये कोरोना की पुष्टि हो जाती है तो तत्काल डॉक्टर की सलाह से अपना इलाज शुरू करें. कोरोना संक्रमण से खुद को बचाने और शरीर में संक्रमण की स्थिति का पता लगाने के लिए घर में ऑक्सीमीटर जरूर रखें. दिन में कम से कम 3 बार जरूर अपना ऑक्सीजन लेवल जांचे. डॉक्टर्स का कहना है कि ऑक्सीजन सेचुरेशन अगर 93 से नीचे चला गया है को आपको हॉस्पिटलाइज होने की तत्काल जरूरत है.

Last Updated : Jul 25, 2023, 8:01 AM IST

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