TS Singh Deo in trouble: अंबिकापुर में डिप्टी सीएम टीएस सिंहदेव को चुनावी नोटिस, इस दिन तक देना होगा जवाब, जानिए पूरा मामला - 9 अक्टूबर से आदर्श आचार संहिता
TS Singh Deo in trouble: अंबिकापुर में डिप्टी सीएम टीएस सिंहदेव को चुनाव अधिकारी की तरफ से नोटिस जारी किया गया है. सरगुजा क्षेत्र में इससे पहले बीजेपी की नेता और केंद्रीय मंत्री रेणुका सिंह को भी नोटिस जारी किया जा चुका है. अब जानिए कि टीएस सिंहदेव को क्यों नोटिस जारी किया गया है. Deputy CM TS Singhdev in Ambikapur
अंबिकापुर: अंबिकापुर में छत्तीसगढ़ के डिप्टी सीएम टीएस सिंहदेव को चुनाव में नोटिस मिला है. यह नोटिस सरगुजा के चुनाव अधिकारी ने जारी किया है. रिटर्निंग ऑफिसर ने नोटिस जारी कर शासकीय संस्था के साथ चुनाव चिन्ह का प्रयोग करने पर आपत्ति जताई है. नोटिस में चुनाव आयोग ने सारी जानकारियां मांगी हैं. शासकीय संस्था के चिन्ह के साथ चुनाव चिन्ह का प्रयोग क्यों किया गया.
बीजेपी की तरफ से की गई थी शिकायत(TS Singh Deo in trouble): बीजेपी की तरफ से टीएस सिंहदेव के खिलाफ शिकायत की गई थी. भाजपा पार्षद आलोक दुबे ने शिकायत की थी कि सिंहदेव ने शासकीय संस्था के साथ चुनाव चिन्ह का प्रयोग किया है. जो गलत है. उसके बाद सिंहदेव के खिलाफ यह एक्शन लिया गया है.
जानिए क्या है पूरा मामला: टीएस सिंहदेव पर सोशल मीडिया एकाउंट फेसबुक पर बिना अनुमति के स्वास्थ्य विभाग का प्रचार प्रसार किया गया. इस दौरान चुनाव चिन्ह को भी स्वास्थ्य सेवाओं की योजनाओं और सुविधाओं के साथ दिखाया गया. जो नियम का उल्लंघन है. इसके अलावा शासकीय योजनाओं के प्रचार में भी चुनाव चिन्ह को दिखाया गया है जो गलत है. जबकि इलाके में 9 अक्टूबर से आदर्श आचार संहिता लागू हो गया है. उसके बाद भी यह लापरवाही बरती गई.
टीएस सिंहदेव को एक दिन का मिला समय: इस पूरे मामले में टीएस सिंहदेव को एक दिन का समय जवाब देने के लिए दिया गया है. अगर सही समय पर जवाब नहीं दिया जाता है तो अंबिकापुर से कांग्रेस के उम्मीदवार सिंहदेव के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जाएगी.
कांग्रेस ने बीजेपी पर बोला हमला: इस मामले में कांग्रेस की तरफ से भी प्रतिक्रिया आई है. कांग्रेस ने इसे राजनीतिक द्वेषपूर्ण वाली कार्रवाई बताया है. सारे आरोपों को कांग्रेस ने अनर्गल करार दिया है.अब देखना होगा कि सिंहदेव के जवाब के बाद निर्वाचन अधिकारी की तरफ से सिंहदेव के खिलाफ कार्रवाई हो सकती है. देखना होगा कि इस मामले में अब किस तरह की राजनीतिक अंबिकापुर में होती है.