सड़क हादसों में बढ़ रहा बाइक सवार लोगों की मौत का आंकड़ा - total road accident in Korba in 2020
कोरबा जिले में सड़क हादसों की संख्या में बढ़ोतरी हुई है. पिछले साल की अगर बात करें तो कुल 201 लोगों ने सड़क हादसों में अपनी जान गंवाई है.इनमें सबसे ज्यादा संख्या बाइक सवार लोगों की है.
कोरबा में बढ़ते सड़क हादसे
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Published : Jan 12, 2021, 10:06 PM IST
कोरबा :छत्तीसगढ़ में सड़क हादसों की संख्या लगातार बढ़ती जा रही है. सबसे ज्यादा दोपहिया वाहन चालक सड़क हादसों का शिकार हो रहे हैं. कोरबा जिले की अगर बात करें तो वर्ष 2020 में कुल 201 लोगों ने सड़क हादसों में जान गंवाई है. इसकी मुख्य वजह शराब पीकर ड्राइविंग करना और हेलमेट न पहनना बताया जा रहा है. सर्वाधिक हादसे बांगो, कटघोरा, उरगा, कुसमुंडा और पाली में दर्ज किए गए हैं.
सड़क हादसों के पीछे पुलिस जिले में भारी वाहनों का अधिक दबाव और शराब सेवन को प्रमुख वजह मान रही है. दूसरा पहलू यह भी है कि जिले में सड़क सुरक्षा समिति के बैठकों में की गई सिफारिशों को वर्षों बाद भी अमलीजामा नहीं पहनाया गया है.
36 ब्लैक स्पॉट
जिले के एक दर्जन सड़कों पर 36 ब्लैक स्पॉट हैं. जिनकी इंजीनियरिंग सुधारने के लिए पीडब्ल्यूडी विभाग को काम करना था, लेकिन वह अपने प्रयासों में पूरी तरह से विफल रहा है. पिछले 2 साल में कुल मिलाकर 444 लोगों की जान जा चुकी है. जिले में कसनिया नाला, बक्साही मोड़, डूमर कछार, गाजर नाला, बनबांधा मोड़, मड़वारानी मोड़, गुरसिया, भिलाई खुर्द, धौराभाठा वैशाली नगर कुसमुंडा, तिवरता और कोथारी रोड सड़क दुर्घटनाओं के लिहाज से सर्वाधिक संवेदनशील ब्लैक स्पॉट हैं. इस वर्ष भी इन्हीं ब्लैक स्पॉट पर सर्वाधिक दुर्घटनाएं हुई हैं.
पिछले 5 साल में सड़क हादसों के आंकड़े
वर्ष
कुल मौतें
2016
232
2017
241
2018
191
2019
239
2020
201
शराब और रफ्तार दुर्घटनाओं की दो बड़ी वजह
सड़क हादसे में मृत ज्यादातर लोगों की जान नेशनल हाईवे पर गई है. जो कटघोरा से होकर अंबिकापुर तक जाती है. यहां की सड़क पहले जर्जर हुआ करती थी. कुछ साल पहले यहां कंक्रीट की चिकनी सड़क का निर्माण पूर्ण किया जा चुका है. जहां वाहन अब फर्राटे भरते हैं. तेज रफ्तार वाहन चलाने के साथ ही शराब पीकर वाहन चलाने के दौरान ज्यादातर सड़क हादसे हुए हैं. जिले की दो शराब दुकाने ढेंगुरणाला और कुसमुंडा मार्ग पर बरमपुर में संचालित दुकानों को अन्यत्र शिफ्ट करने की योजना थी, लेकिन यह काम अब तक अधूरा है. मुख्य मार्ग पर होने के कारण इन शराब दुकानों से लोग शराब सेवन करके सड़क पर आते हैं और दुर्घटनाओं का शिकार हो जाते हैं.