अस्ताचलगामी सूर्य को अर्घ्य देने दंड प्रणाम देते छठ घाट पहुंचे श्रद्धालु, पढ़िये क्या है वजह
Published : Nov 19, 2023, 7:22 PM IST
पटनाः बिहार में छठ पर्व काफी आस्थापूर्वक मनाया जाता है. छठ घाट पर सभी भेदभाव खत्म हो जाते हैं. अमीर घर की छठ व्रती हो या गरीब घर की सब एक साथ ही भगवान भास्कर को अर्घ्य देती हैं. छठ घाट पर किसी के लिए कोई विशेष व्यवस्था नहीं होती है. जिस तरह की जिसकी मन्नत होती है या जो मनौती लोगों ने मान रखी है उसके अनुसार छठ महापर्व किया जाता है. चार दिवसीय लोक आस्था के महापर्व का आज रविवार को तीसरा दिन था. आज पहला अर्घ्य दिया गया. डूबते हुए सूर्य को अर्घ्य दिया गया. राजधानी पटना में सैकड़ो ऐसे महिला छठ व्रती देखने को मिलीं जो अपने घर से ही दंडवत प्रणाम करते हुए छठ घाट तक पहुंच कर भगवान भास्कर को अर्घ्य देती हैं. लोग अपनी श्रद्धा और भाव के अनुसार छठ मैया की पूजा आराधना करते हैं. लोगों का कहना है कि हमने जो मन्नत मांगी थी वह पूरा हुआ और हमने कहा था कि हमारी मुरादे अगर पूरा होगा तो हम दंडवत प्रणाम करते हुए छठ घाट तक आएंगे. छठ मैया को अर्घ्य देंगे, वही हम करने जा रहे हैं. निश्चित तौर पर छठ महापर्व को लेकर यह मान्यता है कि जो लोग मां से छठी मैया से कोई मुरादे मांगते हैं उसे पूरा होता है और उसके बाद वह छठ व्रत करके छठ मैया को सुबह और शाम का अर्घ्य देते हैं.