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Published : Aug 11, 2020, 4:13 PM IST

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बाढ़ पीड़ितों के लफ्ज सुन भर आएंगी आंखें, Etv भारत की खबर पढ़ मदद को आगे आए समाजसेवी

ईटीवी भारत की खबर पढ़ते ही कई समाजसेवी मदद को आगे आ रहे हैं. बाढ़ ग्रस्त बेतिया के कई गांवों के बाढ़ पीड़ितों को ऐसे ही मदद पहुंच रही है. मदद मिलते ही बाढ़ पीड़ित ईटीवी भारत और समाजसेवियों का धन्यवाद अदा करना नहीं भूलते.

ईटीवी भारत
ईटीवी भारत

बेतिया:बिहार में कोरोना के साथ-साथ बाढ़ कहर बरपा रही है. पश्चिमी चंपारण के बेतिया के कई गांव आज भी जलमग्न हैं. इनतक किसी प्रकार की सरकारी मदद नहीं पहुंची है. ऐसे में, हम लगातार ग्राउंड रिपोर्ट दिखा रहे हैं. इन्हीं खबरों को पढ़ते ही जन सेवा के लिए समाजसेवी मदद को आगे आ रहे हैं.

बीते 7 अगस्त को हमने मझौलिया प्रखंड के डुमरी महनवा पंचायत के वार्ड नंबर 5 की ग्राउंड रिपोर्ट दिखाई थी. यहां कोहडा हरिजन टोली के बाढ़ पीड़ितों तक किसी प्रकार की कोई सरकारी मदद नहीं पहुंची थी. लोग परेशान और बेहाल थे. इस खबर को पढ़ते ही समाजसेवी मैरी एडलीन मदद को आगे आईं. उन्होंने ईटीवी भारत के संवाददाता से संपर्क कर इस गांव के लोगों को मदद मुहैया कराने की बात की. तय समय और राहत सामग्री के साथ वो मौके पर पहुंची.

देखें, क्या बोले बाढ़ पीड़ित

खिल उठे बाढ़ पीड़ितों के चेहरे
कोहडा हरिजन टोली में लगभग 200 बाढ़ पीड़ित हैं. इन लोगों के पास अभी तक कोई भी सरकारी राहत नहीं पहुंची हैं. लेकिन जैसे ही समाजसेवी मैरी एडलीन राशन लेकर पहुंची, इन बाढ़ पीड़ितों के चेहरा खिल उठे. कोहडा हरिजन टोली में जाने का कोई रास्ता नहीं है. इस गांव में जाने के लिए एक नाव ही मात्र सहारा है. जिसके बाद वहां के बाढ़ पीड़ितों ने तुरंत एक नाव की व्यवस्था की और उस पर समाजसेवी मैरी एडलीन और उनके सहयोगियों को लेकर गांव में पहुंचे.

कुछ ऐसे गांव पहुंची मैरी एडलीन

यहां राहत सामग्री मिलते ही बाढ़ पीड़ितों के चेहरे खिल उठे. मैरी एडलीन ने खाद्य सामग्री के साथ-साथ सभी को कोरोना संक्रमण से बचाव को लेकर मास्क भी बांटा और इसे पहने रहने की सलाह दी.

राहत सामग्री पा खिल उठे चेहरे

मैरी एडलीन ने कहा, 'सबसे पहले ईटीवी भारत का धन्यवाद देती हूं. मैंने जैसे ही खबर पढ़ी, मुझे ताज्जुब हुआ. पूरा गांव चारो ओर से जलमग्न है. ईटीवी भारत की टीम को पानी में घुसकर यहां तक आते देख, मेरे मन में भी इस गांव बाढ़ पीड़ितों की मदद करने की इच्छा हुई. मैंने इसके चलते आपसे संपर्क किया और आज यहां मदद पहुंचाई है.'

क्या बोले बाढ़ पीड़ित

बाढ़ पीड़ित उमेश राम कहते हैं,'सबसे पहले ईटीवी भारत का धन्यवाद. आपकी वजह से आज हमें चूड़ा-मीठा और राशन मिला है.'

बाढ़ पीड़ितों की मदद करती मैरी एडलीन

उमरावती देवी और मनोरमा देवी अपने लफ्जों में ईटीवी भारत और मैरी एडलीन का धन्यवाद करते नहीं थक रही हैं. दोनों कहती हैं, 'इस मुसीबत की घड़ी में आप लोगों ने दया की. हमारे पास खाने पीने को कुछ नहीं था. कोई भी नहीं आया. आप आए, आपका धन्यवाद'

नहीं पहुंची अब तक सरकारी सहायता
बता दें इस गांव के लोगों के पास खुद की एक नाव है, जिससे ये लोग आते-जाते हैं. गांव चारों ओर से बाढ़ के पानी से घिरा हुआ है. अभी तक यहां कोई भी जनप्रतिनिधि नहीं पहुंचा है और ना ही इनके पास कोई सरकारी राहत सामग्री पहुंची है. समाजसेवी मैरी एडलीन ने अपील करते हुए कहा कि ऐसे तमाम बाढ़ पीड़ितों के लिए ज्यादा से ज्यादा लोग मदद को आगे आएं, ताकि कोरोना काल में कुछ हद तक इनका दर्द कम हो सके.

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