बगहा:बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने शुक्रवार को वाल्मीकि नगर गंडक बराज का निरीक्षण किया. इसके बाद मुख्यमंत्री ने अधिकरियों को कई निर्देश दिए. बता दें कि वाल्मीकिनगर गंडक बैराज से शुक्रवार की सुबह लगभग 4 लाख 40 हजार 750 हजार क्यूसेक पानी का डिस्चार्ज किया गया. जिससे जिले के निचले इलाके सहित झंडू टोला स्थित एसएसबी कैम्प (Flood Water Entered In SSB Camp In West Champaran) में भी पानी घुस गया है. इससे स्थानीय लोगों के साथ एसएसबी जवानों की मुश्किलें भी बढ़ गई हैं.
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हवाई मार्ग से भी सीएन ने लिया जायजा: सीएम ने हवाई मार्ग से भी बाढ़ के हालात का जायजा लिया. उनके साथ जल संसाधन मंत्री संजय झा भी मौजूद थे. मुख्यमंत्री दोपहर बाद वाल्मीकिनगर हवाई अड्डा पर पहुंचे थे और फिर वहां से गण्डक बराज का निरीक्षण करने निकल गए. निरीक्षण के बाद मुख्यमंत्री ने कहा कि अचानक दो दिनों से गंडक नदी का जलस्तर तेजी से बढ़ रहा था. लिहाजा उसका जायजा लेने वे वाल्मीकिनगर पहुंचे और अधिकारियों से विचार विमर्श किया. उन्होंने बताया कि अब जलस्तर धीरे-धीरे कम हो रहा है लेकिन यदि फिर बढ़ता है तो अधिकारी क्या कुछ करेंगे, इस बाबत दिशा निर्देश भी दिया गया है.
"ज्यादा नुकसान होने की संभावना नहीं है, लेकिन फिर भी पूरा का पूरा प्रशासन से लेकर विभाग तक अलर्ट है. उसी को देखने के लिए हमलोग आए हैं. कहीं ऐसा न हो जाए कि और ज्यादा बाढ़ की स्थिति बन जाए. अभी तो थोड़ा पानी घटने लगा है. संभावना है कि फिर से पानी का जलस्तर बढ़ेगा. इसी को देखने के लिए आए है"-नीतीश कुमार, मुख्यमंत्री, बिहार
SSB कैम्प समेत निचले इलाकों में घुसा पानी: नेपाल में हो रही भारी बारिश से पश्चिम चंपारण में नदियों के जलस्तर में बढ़ोत्तरी हो रही है. इंडो-नेपाल सीमा स्थित वाल्मीकिनगर गंडक बराज से शुक्रवार की सुबह 4 लाख 40हजार 750 क्यूसेक पानी छोड़ने के बाद एक बार फिर जिले में हालात बिगड़ गए हैं. नेपाल के जल अधिग्रहण क्षेत्रों में भारी बारिश के बाद गंडक नदी का जलस्तर बढ़ना शुरू हुआ, तो झंडू टोला स्थित एसएसबी कैंप में पानी घुस गया है. जिससे SSB जवानों की परेशानी बढ़ गई है.
नेपाल में बारिश, बिहार में बाढ़: इससे पहले, वाल्मीकिनगर स्थित गंडक बराज नियंत्रण कक्ष की ओर से गंडक नदी में गुरुवार की रात 3 लाख 50 हजार क्यूसेक पानी छोड़ा गया है. लिहाजा एहतियातन गंडक बराज के सभी 36 फाटकों को खोल दिया गया है और जल संसाधन विभाग ने हाई अलर्ट जारी कर दिया है. जलस्तर बढ़ने से गंडक नदी के निचले इलाकों खासकर चकदहवा, झंडू टोला और पिपरासी प्रखण्ड के सेमरा लबेदहा सहित कई क्षेत्रों में फिर से बाढ़ का पानी घुस गया है. एसएसबी ने झंडू टोला गांव के लोगों को कैम्प के सामने बांध पर सुरक्षित शरण दिया है. इतना ही नहीं वाल्मीकिनगर स्थित हवाई अड्डा भी जलमग्न हो गया है.
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पहाड़ी नदियां उफान पर: दूसरी तरफ भारी बारिश के कारण पहाड़ी नदियां भी उफान पर हैं. यही वजह है कि नौरंगिया थाना अंतर्गत विटीआर जंगल से वाल्मीकिनगर जाने वाली बलजोरा पुल के पास सड़क पर दो फीट पानी लग गया है, जिससे आवागमन भी प्रभावित हो रहा है. भारी बारिश से उफनाई पहाड़ी नदी ने जंगल समेत सड़क को भी जलमग्न कर दिया है. जंगल में पानी लबालब भरा होने के कारण वन्य जीवों पर भी आफत आ गई है.
"पूरे विभाग को अलर्ट रहने का निर्देश":इससे पहले संसाधन मंत्री संजय झा (Water Resources Minister Sanjay Jha) ने भी मीडिया से बात करते हुए बताया कि वाल्मीकि गंडक बैराज में सुबह 10 बजे तक 4 लाख 45000 क्यूसेक पानी हो गया था. नेपाल क्षेत्र में हो रही अत्यधिक बारिश के कारण यह स्थिति बनी है. लेकिन विभाग पूरी तरह से अलर्ट है. 3 दिन महत्वपूर्ण होने वाला है, क्योंकि डेढ़ दिन तक बारिश होने का अनुमार है. उन्होंने कहा गंडक बैराज के सभी फाटक खोल दिए गए हैं. ऐसे में मोतिहारी, सारण, मुजफ्फरपुर सहित वैशाली जिले में इसका प्रभाव दिखेगा. अभियंता और अधिकारियों को भी पूरी तरह से मुस्तैद रहने का निर्देश दिया गया है.