वैशाली: बिहार के वैशाली जिले के हाजीपुर बीजनिगम के कार्यालय (Hajipur Beej Nigam Limited) के अधिकारी ने बताया कि दलहन के किसानों के बीज प्रोडक्शन के लिए निबंधन 31 दिसंबर तक किया जा सकेगा. साथ ही गेहूं के बीज प्रोडक्शन के लिए किसानों को 31 जनवरी तक का समय दिया गया है. जिसमें लेट होने पर लेट फाइन के साथ निबंधन की प्रक्रिया रखी गई है.
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बिहार राज्य बीज निगम हाजीपुर कार्यालय (Bihar Beej Nigam Limited) में प्लांट सह भंडारण पदाधिकारी रवि कुमार सिन्हा ने बताया कि अब तक 750 किसानों को बीज उत्पादन कार्य के लिए बीज उपलब्ध (Seeds Provided To Farmers) कराया जा चुका है. जिसमें गेहूं, चना, मसूर, मटर, व राई आदि के बीज दिए गए हैं. उन्होंने बताया कि एक किसान को ज्यादा से ज्यादा 10 हेक्टेयर के लिए बीज दिया गया है. जिसके लिए एक पदाधिकारी नियुक्त हैं, जो समय-समय पर किसानों की जमीन पर जाकर जांच करेंगे और जरूरत के मुताबिक सलाह भी देंगे. इसके साथ ही वह विभाग को इसकी रिपोर्ट भी करेंगे. जिसके आलोक पर आगे की कार्रवाई की जाएगी.
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रवि कुमार सिन्हा ने आगे बताया कि निबंधित किए गए किसानों को बीज उत्पादन में एमएसपी से 20 प्रतिशत अतिरिक्त रुपये दिए जाएंगे. साथ ही प्लांट तक लाने के लिए परिवहन का भी भुगतान किया जाएगा. इसके अलावा जिस बैग में पैक कर किसान बीज लाएंगे उसकी राशि भी निगम भुगतान करेगी. इसके निबंधन के लिए किसानों से उनका डॉक्यूमेंट लिया जा रहा है. जिसका रजिस्ट्रेशन होगा और सीड सर्टिफिकेशन एजेंसी में इसकी जानकारी भी होगी. जिससे किसानों को काफी फायदा होगा.
निबंधन के बाद प्रतिनियुक्त पदाधिकारी जांच करेंगे कि निबंधन सही है या गलत. सही पाए जाने पर डीबीटी पोर्टल पर अंकित किया जाएगा और पैसे सीधे किसान के अकाउंट में जाएगा. उन्होंने आगे बताया कि बिहार राज्य बीज निगम हाजीपुर 14 जिलों के किसानों को को बीज के पैदावार के लिए बीज मुहैया कराती है. जिसमे 8 से 10 जिलो में किसानों को बीज दिया जा चुका है. दलहन का बीज ज्यादातर पटना और नवादा के किसान लेते हैं.
बता दें कि बिहार राज्य बीज निगम हाजीपुर 14 जिलों के किसानों को चिन्हित कर उनका निबंधन करता है. इसके बाद उन्हें बीज उत्पादन के लिए बीज देता है. उत्पादित किए गए बीज को खरीदने का भी काम करता है. हालांकि जलजमाव के कारण कई जिलों में उम्मीद के मुताबिक किसानों ने इस बार बीज उत्पादन में रुचि नहीं दिखाई है. उम्मीद है आने वाले समय मे इसकी संख्या बढ़ जाएगी.
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