वैशाली:बिहार में छोटे उद्योगों (Small Industries In Bihar) की इकाइयां धीरे-धीरे बढ़ रही है. वैशाली जिले के हाजीपुर प्रखंड के रामपुर नौसहन गांव में बनाना फाइबर फैक्ट्री का उद्घाटन (Banana Fiber Factory Inaugurated) किया गया. डॉ. राजेंद्र प्रसाद केंद्रीय कृषि विश्वविद्यालय के कुलपति डॉ. रमेश चंद्र श्रीवास्तव ने इसका उद्घाटन किया. इस मौके पर आगंतुक सभी अतिथियों ने उद्यमी जगत कल्याण को केला रेशा निष्कर्षण एवं प्रसंस्करण इकाई (Fiber Extraction And Processing Unit Inauguration) खोलने के लिए धन्यवाद दिया.
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'आम का आम गुठलियों के दाम' यह कहावत तो आपने बहुत सुना होगा, मगर केला को लेकर ऐसी बात नहीं सुनी होगी. जिसे आज विज्ञान की मदद से साकार कर दिया गया है. हम केला खाकर उसके पेड़ और पत्तों को फेंक दिया करते है, लेकिन अब वह भी आपके काम आने वाला है. क्योंकि केला के पेड़ से निकलने वाला बनाना फाइबर से कई सारे रोजमर्रा के जीवन में आने वाले प्रोडक्ट बन रहे हैं. जो एनवायरनमेंट के लिए भी काफी बेहतर है.
सरकार की ओर से इसे बढ़ावा देने के लिए अलग-अलग तरीके से योजनाएं चलाई जा रही है. जिसमें कृषि विज्ञान केंद्र और केला अनुसंधान केंद्र सहयोग भी कर रहा है. बनाना फाइवर फैक्ट्री का उद्घाटन करने पहुंचे डॉ. राजेंद्र प्रसाद केंद्रीय कृषि विश्वविद्यालय के कुलपति डॉ. रमेश चंद्र श्रीवास्तव ने बताया की केला के रेशा से कई सारे प्रोडक्ट बन रहे हैं और धीरे-धीरे यह रोजगार के रूप में तब्दील होने वाला है.
कुलपति ने बताया कि इसकी मार्केटिंग के लिए खादी के आउटलेट से एमओयू साइन किया गया है. जिसमें देश और विदेश में खुले खादी के आउटलेट में केला के रेशा से या कहें कि केले से बनने वाले प्रोडक्ट भी मिलेंगे. इससे खादी के साथ केला को भी बढ़ावा मिलेगा और इससे जुड़े किसानों और उद्यमियों को बाजार के लिए परेशान नहीं होना पड़ेगा.