सारणः जिले के कोठिया-नरांव गांव स्थित प्राचीन सूर्य मंदिर उत्तर बिहार का प्रसिद्ध धार्मिक केंद्र है. इस मंदिर के बारे में मान्यता है कि यहां सच्चे मन से मागी गई हर मनोकामना पूर्ण होती है. छठ पर्व पर पूजा करने के लिए यहां दूर-दराज से लोग आते हैं. मंदिर परिसर में एक तालाब भी है जहां छठ के मौके पर अर्घ्य दिया जाता है.
300 साल पुराना है इतिहास
स्थानीय लोगों ने बताया कि इस मंदिर का इतिहास 300 साल पुराना है. पहले मंदिर और इसका परिसर इतना विकसित नहीं था. धीरे-धीरे लोगों की आस्था बढ़ती गयी. फिर जन सहयोग से सूर्य मंदिर का निर्माण कराया गया और एक पोखर भी बनवाया गया. जहां छठ पर्व पर काफी भीड़ उमड़ती है.
20 हजार लोग देते हैं अर्घ्य
लोगों ने बताया कि आस-पास के लगभग 25 गांव के लोग यहां पूजा करने आते हैं. साथ ही दूसरे जिले और राज्यों से भी श्रद्धालु यहां छठ मनाने पहुंचते हैं. स्थानीय लोगों के मुताबिक छठ पर्व पर मंदिर परिसर में बने पेखर के घाटों पर हर साल लगभग 20 हजार लोग अर्घ्य देते है.