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आ गया प्रेमियों का दिन 'वैलेंटाइन डे', सरप्राइज प्लान करने में जुटे युवा

वैलेंटाइन डे को लेकर युवाओं में काफी उत्साह है. इसको लेकर युवाओं ने खास तैयारी भी कर रखी है. कोई सरप्राइज गिफ्ट देनेवाला है तो कोई सरप्राइज तरीके से रेस्टोरेंट में पार्टी करनेवाला है.

वैलेंटाइन डे
वैलेंटाइन डे

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Published : Feb 13, 2021, 4:35 PM IST

पटनाःकल वैलेंटाइन डे है. प्रेमी जोड़ों का दिन. एक-दूसरे को अपने प्रेम का एहसास कराने का दिन. इस दिन को खास बनाने के लिए युवा प्रेमी जोड़े और शादीशुदा जोड़े कई तरीके अपना रहे हैं. कोई सरप्राइज प्लान कर रहा है, तो कोई मनचाहा गिफ्ट देने की तैयारी में है. राजधानी पटना में भी वैलेंटाइन डे की तैयारी दिख रही है. प्रेमी जोड़े बताते हैं कि इस साल वैलेंटाइन डे को खास बनाना है. किसी ने तो सप्ताह भर पहले ही रेस्टोरेंट का टेबल तक बुक कर लिया है. लेकिन बाजार की बात करें, तो बाजार में वैलेंटाइन डे की रौनक थोड़ी फीकी है. गिफ्ट दुकानों में ग्राहक काफी कम पहुंच रहे हैं.

वैलेंटाइन डे गिफ्ट

साल भर रहता है इस दिन का इंतजार
प्यार का प्रतीक माने जाने वाला वैलेंटाइन आने में अब महज चंद घंटे बचे हैं. प्रेमी जोड़ों ने अपने-अपने पार्टनर को सरप्राइज गिफ्ट देने की तैयारियां पूरी कर ली है. ईटीवी भारत ने राजधानी पटना के कुछ प्रेमी जोड़ों से बात की. उन्होंने बताया, वैलेंटाइन डे को मनाने के लिए साल भर का इंतजार रहता हैं. प्रेमी जोड़े कहते हैं, यही वह दिन होता है जब प्रेमी जोड़े एक दूसरे के साथ पल बिताते हैं. इस दिन का इंतजार उन्हें बेसब्री से पूरे साल रहता है.

युवतियां कहती हैं कि इस स्ट्रेस भरे जीवन में कपल्स पूरे साल काम के चक्कर में अपने पार्टनर को ज्यादा समय नहीं दे पाते. एक यही दिन होता है जब अपने पार्टनर के साथ ज्यादा से ज्यादा टाइम स्पेंड करने और उसे जानने-समझने का मौका मिलता है.

देखें पूरी रिपोर्ट

रेस्टोरेंट बुक कर दिया जाएगा सरप्राइज
वैलेंटाइन डे के बारे में नैना और उसकी फ्रेंड सुनैना कहती हैं कि उसने भी अपने पार्टनर के लिए वैलेंटाइन डे के दिन कुछ सरप्राइज सोच रखा है. इस दिन अपने पार्टनर के साथ पूरा दिन बिताने का प्लान है. वैलेंटाइन डे के दिन वह अपने पार्टनर के साथ पूरा दिन बिता कर उसे अच्छे से समझने की कोशिश करेंगी. इसकी तैयारियां उन्होंने पूरी कर ली है.

पहली बार वैलेंटाइन मना रहे अनिल कहते हैं, उन्होंने इस वैलेंटाइन को मनाने की पूरी तैयारियां कर ली है. एक रेस्टोरेंट भी बुक किया है. केक का ऑर्डर भी दे दिया है. सरप्राइज पार्टी की तैयारियां भी पूरी कर ली है. कल वह अपने पार्टनर को कुछ सरप्राइज भी देने वाला है.

वैलेंटाइन डे के लिए सजा बाजार

दुकानदारों में छायी रही मायूसी
वहीं पटना के बोरिंग रोड में अपनी गिफ्ट दुकान चला रहे हैं. मनीष कहते हैं, इस वर्ष कोरोना संक्रमण के कारण वैलेंटाइन का बाजार पूरी तरह से फीका रहा है. हालात ये हैं कि कम दाम में टैडी और कपल्स के गिफ्ट बेचने के बावजूद भी ग्राहकों की भीड़ दुकानों में नहीं दिख रही है. मनीष कहते हैं कोरोना के कारण लोगों का वर्ष 2020 पूरी तरह से बर्बाद रहा. लोगों के जेब में पैसे नहीं हैं. जब पेरेंट्स के पास पैसे नहीं हैं, तो आखिरकार युवा इस वैलेंटाइन को थोड़े कम खर्च में मनाने की तैयारी करने में जुटे हुए हैं.

सुनैना
अनिल

जानें... कौन हैं संत वैलेंटाइन और क्या है वैलेंटाइन डे की पूरी कहानी
वैलेंटाइन डे और संत वैलेंटाइन का इतिहास रहस्यमयी है. हम यह तो जानते हैं कि लंबे समय से फरवरी माह को रोमांस के माह की तरह मनाया जाता रहा है. हम यह भी जानते हैं कि इस उत्सव में ईसाई और रोमन परंपराएं शामिल हैं.

कैथोलिक चर्च वैलेंटाइन नाम के तीन संतों को मानता है. किंवदंती के अनुसार वैलेंटाइन तीसरी शताब्दी के दौरान रोम में एक पुजारी थे.

तीसरी शताब्दी के रोमन सम्राट क्लॉडियस द्वितीय का मानना था कि वे पुरुष जो शादीशुदा नहीं थे और वे जिनके परिवार नहीं थे, वह शादीशुदा और परिवार वाले पुरुषों की तुलना में बेहतर सैनिक होते हैं. इसलिए सम्राट क्लॉडियस ने युवाओं की शादी पर प्रतिबंध लगा दिया था.

वैलेंटाइन डे

इस अन्याय की खिलाफत करते हुए वैलेंटाइन ने गुप्त रूप से युवाओं का विवाह कराना जारी रखा. जब सम्राट क्लॉडियस द्वितीय को इसके बारे में पता चला, तो उन्होंने वैलेंटाइन का सिर कलम कर दिया.

वैलेंटाइन को लेकर एक अन्य कहानी के मुताबिक सम्राट क्लॉडियस द्वारा पकड़े जाने के बाद वैलेंटाइन को जेल में डाल दिया गया और मौत की सजा सुनाई गई, जहां उन्हें जेलर की बेटी से प्यार हो गया. कहा जाता है कि जब 14 फरवरी को वैलेंटाइन को मौत की सजा देने के लिए ले जाया जा रहा तब उन्होंने जेलर की बेटी को प्रेम पत्र लिखा था, जिसपर उन्होंने हस्ताक्षर किया था, तुम्हारा वैलेंटाइन.

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भारत में वैलेंटाइन की शुरुआत
वहीं अगर भारत में वैलेंटाइन डे कि बात करें तो इसका एक इतिहास हैं, इसकी एक कहानी है जिसकी शुरुआत मसूरी से मानी जाती है. मसूरी के मशहूर इतिहासकार गोपाल भारद्वाज बताते हैं कि 'मसूरी मर्चेंट द इंडियन लैटर्स' पुस्तक में लिखे पत्र से साफ हो जाता है कि देश में वैलेंटाइन की शुरुआत 1843 में हुई होगी.

वैलेंटाइन के दिन मोगर मांक ने लिखा था पत्र
उन्होंने बताया कि इंग्लैंड में जन्मे 'मोगर मॉन्क' उन दिनों मसूरी में जॉन मेकेनन के बार्लोगंज स्थित स्कूल में लैटिन भाषा के शिक्षक थे. इसी दौरान उन्हें 'एलिजाबेथ लुईन' नाम की लड़की से प्यार हो गया. जिसके बाद मोगर मॉन्क ने 14 फरवरी 1843 को मसूरी से एक खत अपनी बहन के नाम इंग्लैंड भेजा था. इस खत में उन्होंने अपनी बहन मारग्रेट को अपनी भावनाओं के बारे में बताया था.

मोगर को एलिजाबेथ लुईन से हुआ था प्यार
'मसूरी मर्चेंट द इंडियन लैटर्स' बुक के अनुसार 'मोगर मांक' ने अपनी बहन को पत्र में लिखा- ‘प्रिय बहन, आज वैलेंटाइन डे के दिन मैं यह पत्र लिख रहा हूं. मुझे एलिजाबेथ लुईन से प्यार हो गया है. मैं उसके साथ बहुत खुश हूं.' वैलेंटाइन डे के दिन लिखे गए पत्र का तब चला जब 150 साल बाद मोगर मॉन्क के रिश्तेदार एंड्रयू मॉर्गन ने 1828 से 1849 के बीच लिखे गए पत्रों का जिक्र 'मसूरी मर्चेंट द इडियंन लैटर्स' पुस्तक में किया. देश में पहली बार प्रेम के इस पत्र का रिकार्ड बुक में दर्ज होने से माना जाता है कि इसी दिन से भारत में वैलेंटाइन डे का आगाज हुआ था.

'कौन हो सकता है वैलेंटाइन स्पेशल'
गोपाल भारद्वाज का मानना है कि वैलेंटाइन डे महज लड़का-लड़की के बीच प्यार से नहीं है. आपको प्यार किसी से भी हो सकता है, जिसे देखने के बाद पहली नजर में उसके प्रति सम्मान के साथ प्यार झलकता हो वास्तव में वह आपका वैलेंटाइन डे स्पेशल बन सकता है. उन्होंने आज के युवाओं को संदेश देते हुए कहा कि प्यार मात्र संबध बनाने के लिये नहीं होता. युवक-युवतियां वैलेंटाइन मनाने से पहले अपने खास मित्र को समझें, परखें और सम्मान करें.

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