पटना:बिहार के युवाओंने अपनी प्रतिभा का लोहा देश में ही नहीं बल्कि विदेशों में भी मनवाया है. बिहार के कई लाल देश में कमाल कर रहे हैं. इन्हीं में से एक बिहार के सौरभ (Young Entrepreneur Saurabh) हैं. सौरभ ने महज 13 साल की उम्र में ही डिजिटल दुनिया में कदम रखा था. आज सौरभ स्वावलंबी बन गए हैं. इनकी लिखी किताब 'द गोल्डन एज 17' (The Golden Age 17) भी लोगों को खब पसंद आ रही है.
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पश्चिम चंपारण निवासी सौरभ महज 17 साल की उम्र में ही युवाओं के लिए मिसाल बन चुके हैं. 13 साल के उम्र में सौरभ ने स्वावलंबी बनने का फैसला लिया. सौरभ ने सॉफ्टवेयर एप डेवलपर बनने का निर्णय लिया. 4 साल के अथक प्रयास और कड़े संघर्ष के बाद उन्होंने सफलता की सीढ़ियों पर अपने कदम रखे.
सौरभ ने बोर्ड पास करने के साथ-साथ सॉफ्टवेयर के क्षेत्र में बड़ा मुकाम हासिल किया है. इनके नाम कई उपलब्धियां हैं. 50 से ज्यादा ऐप सौरभ डेवलप कर चुके हैं. 200 से ज्यादा कंपनियां बनाई है, 200 से ज्यादा वेबसाइट का निर्माण किया है. सौरभ की लिखी हुई 'द गोल्डन एज 17' पुस्तक खूब सुर्खियां बटोर रही है.
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अमेजन और फ्लिपकार्ट पर सौरभ की लिखी पुस्तक को युवा खूब पसंद कर रहे हैं. पुस्तक में युवाओं के लिए बहुत कुछ है. युवा कैसे पढ़ाई के साथ कमाई करें, इस बारे में टिप्स भी दिया गया है. सौरभ के पिता सुभाष कुमार मैकेनिकल इंजीनियर हैं और वह मद्रास में नौकरी करते हैं.