पटना: बिहार विधानसभा चुनाव संपन्न होने के साथ ही एनडीए के अंदर अंतर्विरोध उभर कर सामने आने लगे हैं. केंद्रीय मंत्री अश्विनी चौबे एग्जिट पोल के नतीजों के बाद मुखर हो गए हैं. नीतीश कुमार केंद्र की राजनीति में शिफ्ट हो, इस बात की वकालत होने लगी है.
एग्जिट पोल के नतीजों के बाद एनडीए में खींचतान
नीतीश कुमार पिछले 15 साल से बिहार के सत्ता पर काबिज हैं. इस बार भी मुख्यमंत्री नीतीश कुमार चौथी बार जोर आजमाइश कर रहे हैं. लेकिन इस बार राहें आसान नहीं है. एग्जिट पोल के नतीजे के बाद से आरोप-प्रत्यारोप के दौर शुरू हो गया है. भाजपा नेता और केंद्रीय मंत्री अश्विनी चौबे ने संकेत दिए हैं कि नीतीश कुमार केंद्र की राजनीति में जा सकते हैं.
भाजपा नेताओं के बदले सुर
बदली परिस्थितियों में राजद को नीतीश कुमार पर हमला बोलने का मौका मिल गया है राजद उपाध्यक्ष तनवीर हसन ने कहा है कि नीतीश कुमार ने जनादेश का अपमान किया था और सब को धोखा दिया है. इस बार भाजपा ने भी नीतीश कुमार को सबक सिखाया है यह संभावित था.
अश्विनी चौबे के बयान से भाजपा ने किनारा कर लिया है. पार्टी प्रवक्ता संजय टाइगर ने कहा है कि पार्टी के स्टैंड में कोई बदलाव नहीं है. हम नीतीश कुमार के नेतृत्व में चुनाव लड़ रहे हैं और बहुमत आने की स्थिति में वही मुख्यमंत्री होंगे.
क्या कहते हैं राजनीतिक विश्लेषक
राजनीतिक विश्लेषक मानते हैं कि भाजपा ने नीतीश कुमार को चक्रव्यूह में फंसा दिया है. राजनीतिक के जानकार डॉ. संजय कुमार का कहना है कि पहले चिराग पासवान को लेकर एनडीए ने स्टैंड नहीं लिया और नेता भी मुखर हो रहे. अंतर्विरोध के चलते राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन को भारी नुकसान हुआ है.